Women Health: फिल्मों से लेकर किस्से कहानियों तक जब भी किसी महिला को गर्भवती दिखाना होता है तो कहानीकार महिला को उल्टी करते हुए या जी मिचलाते हुए दिखाता है. आमतौर पर इसे प्रेग्नेंट होने के लक्षणों में ही गिना जाता है लेकिन क्या कभी आपने सोचा है कि आखिर प्रेग्नेंसी के दौरान उल्टी ही क्यों आती है या फिर मॉर्निंग सिकनेस की समस्या ज्यादा क्यों हो जाती है.
आइये इसके पीछे के कारण के बारे में जानकारी देते हैं. गर्भावस्था के दौरान किसी महिला का जी मिचलाना और मॉर्निंग सिकनेस होना बेहद आम समस्याएं हैं और यह आमतौर पर पहली तिमाही के दौरान ही होते हैं. ऐसा होने के कई कारण हो सकते हैं:
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हार्मोनल चेंज: इसका सबसे प्रमुख कारण हार्मोनल चेंज हो सकता है, गर्भावस्था के दौरान प्रोजेस्ट्रोन और एस्ट्रोजन जैसे हार्मोन का लेवल बॉडी में तेजी से बढ़ता है और ये हार्मोन डाइजेस्टिव सिस्टम को धीमा कर सकते हैं, जिससे पेट भरा हुआ महसूस हो सकता है और उल्टी आ सकती है.
बॉडी HCG का लेवल बढ़ना: गर्भावस्था के दौरान मानवीय कोरियन गोनाडोट्रोपिन (HCG) नामक एक हार्मोन बनता है जो शरीर में सिर्फ इसी समय बनता है. इस हार्मोन का बॉडी में लेवल बढ़ने से जी बहुत ज्यादा मिचलता है और उल्टी की मात्रा भी बढ़ जाती है.
सेंसटिविटी का बढ़ना: गर्भावस्था के दौरान सेंसटिविटी भी बढ़ जाती है जिसके चलते किसी भी चीज की गंध और स्वाद ज्यादा समझ आता है. ऐसे में कुछ खाने की चीजें नापसंद हो सकती हैं और वो जी मिचला कर उल्टी को ट्रिगर कर सकते हैं.
बॉडी में फिजिकल चेंज: गर्भावस्था के दौरान जब गर्भाशय बढ़ता है तो पेट पर भी दबाव डाल सकता है, इससे डाइजेस्टिव सिस्टम और मिचली प्रभावित हो सकती है.
मेंटल हेल्थ: गर्भावस्था के दौरान डॉक्टर आपको ज्यादा से ज्यादा रिलैक्स होने की सलाह देते हैं लेकिन इसके बावजूद तनाव, चिंता और गर्भावस्था से जुड़ी भावनात्मक उथल-पुथल होती रहती है, जो कि आपका जी मिचलाने में योगदान देते हैं.
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गौरतलब है कि गर्भावस्था के दौरान जी मिचलाना, मॉर्निंग सिकनेस और उल्टी आना आम बात है और आमतौर पर खतरनाक नहीं होते हैं, लेकिन ये आपको परेशान जरूर कर सकते हैं. ऐसे में आप कुछ घरेलू उपायो अपना सकते हैं जिनसे आपको राहत मिल सकती है. अगर मितली और उल्टी गंभीर हैं, खून आता है या वजन कम हो रहा है, तो डॉक्टर से सलाह लें. वे उचित निदान और उपचार प्रदान कर सकते हैं.