menu-icon
India Daily

अभिनेता दर्शन को जमानत देने पर सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक हाईकोर्ट को क्यों लगाई फटकार?

सुप्रीम कोर्ट ने रेणुकास्वामी हत्या मामले में कन्नड़ अभिनेता दर्शन थूगुदीपा को जमानत देने के कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले पर सवाल उठाए हैं. 17 जुलाई 2025 को हुई सुनवाई में जस्टिस जे.बी. परदीवाला और जस्टिस आर. महादेवन की बेंच ने कहा कि हाईकोर्ट ने अपने विवेक का इस्तेमाल गलत तरीके से किया.

auth-image
Edited By: Antima Pal
actor Darshan in murder case
Courtesy: social media

Actor Darshan Murder Case: सुप्रीम कोर्ट ने रेणुकास्वामी हत्या मामले में कन्नड़ अभिनेता दर्शन थूगुदीपा को जमानत देने के कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले पर सवाल उठाए हैं. 17 जुलाई 2025 को हुई सुनवाई में जस्टिस जे.बी. परदीवाला और जस्टिस आर. महादेवन की बेंच ने कहा कि हाईकोर्ट ने अपने विवेक का इस्तेमाल गलत तरीके से किया. कोर्ट ने दर्शन के वकील कपिल सिब्बल से पूछा कि वे इस फैसले को सही ठहराने के लिए क्या तर्क देंगे. सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक सरकार की याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि वह इस मामले की जांच करेगा, लेकिन जमानत रद्द करने के लिए तुरंत कोई आदेश नहीं देगा.

एक्टर दर्शन को बेल देने पर SC ने कर्नाटक HC को लगाई फटकार

यह मामला 33 वर्षीय रेणुकास्वामी की हत्या से जुड़ा है, जो दर्शन का फैन था. पुलिस के अनुसार रेणुकास्वामी ने दर्शन की दोस्त पवित्रा गौड़ा को आपत्तिजनक मैसेज भेजे थे, जिससे नाराज होकर दर्शन ने कथित तौर पर अपने प्रशंसकों को उसे अगवा करने और मारने का आदेश दिया. रेणुकास्वामी का शव 9 जून 2024 को बेंगलुरु में एक नाले के पास मिला था. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में पुष्टि हुई कि उनकी मृत्यु कई चोटों के कारण हुई. दर्शन को 11 जून 2024 को गिरफ्तार किया गया था और पहले उन्हें बेंगलुरु की परप्पना अग्रहारा जेल में रखा गया था. लेकिन जेल में विशेष सुविधाओं की तस्वीर वायरल होने के बाद उन्हें बल्लारी जेल स्थानांतरित किया गया.

एक्टर को हेल्थ समस्याओं की वजह से दी थी अंतरिम जमानत

कर्नाटक हाईकोर्ट ने 30 अक्टूबर 2024 को दर्शन को स्वास्थ्य कारणों से छह सप्ताह की अंतरिम जमानत दी थी और बाद में 13 दिसंबर को नियमित जमानत दी. कर्नाटक सरकार ने इस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी, जिसमें वरिष्ठ वकील सिद्धार्थ लूथरा ने तर्क दिया कि हाईकोर्ट ने मामले को पूरी तरह 'नजरअंदाज' किया. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वह अन्य सह-आरोपियों की जमानत याचिकाओं को इस आदेश के आधार पर नहीं मानेगा.