Israel Iran Conflict: ईरान के सर्वोच्च नेता अली खामेनेई के वरिष्ठ सैन्य सलाहकार और इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स यानी IRGC के पूर्व कमांडर याह्या रहीम सफवी ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने चेतावनी दी है कि अमेरिका या इजरायल के साथ किसी भी समय नया युद्ध शुरू हो सकता है. यह बयान ऐसे समय आया है जब क्षेत्र में तनाव पहले से ही बढ़ा हुआ है और हाल ही में अमेरिका व इजरायल ने ईरान पर हवाई हमले किए थे.
सफवी ने ईरानी मीडिया से कहा कि हम किसी युद्धविराम में नहीं हैं. हम युद्ध की स्थिति में हैं. हमारे और अमेरिका-इजरायल के बीच कोई समझौता या नियम लागू नहीं है. मुझे लगता है कि एक और युद्ध हो सकता है और उसके बाद शायद कोई युद्ध न बचे. उन्होंने कहा कि ईरान को अपनी ताकत हर मोर्चे पर बढ़ानी होगी क्योंकि इस दुनिया में कमजोर को कुचला जाता है.
उन्होंने यह भी कहा कि ईरान की रणनीति केवल रक्षात्मक नहीं बल्कि आक्रामक भी होनी चाहिए. इसके लिए कूटनीति, मीडिया, मिसाइल, ड्रोन और साइबर शक्ति को मजबूत करने की जरूरत है. सफवी ने कहा कि हम सेना में सबसे बुरे हालात को ध्यान में रखकर योजनाएं बनाते हैं और उसके लिए तैयार रहते हैं.
यह बयान तब आया है जब जून में इजरायल और अमेरिका ने ईरान पर बड़े हमले किए थे. इजरायली वायुसेना ने तेहरान में IRGC के अहम ठिकानों पर बमबारी की थी, जिनमें बसीज मुख्यालय और अलबोरज कोर शामिल थे. इजरायल डिफेंस फोर्सेज यानी IDF ने दावा किया कि इन हमलों से ईरान की आंतरिक सुरक्षा पर बड़ा असर पड़ा.
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा कि इस अभियान से ईरान के मिसाइल और परमाणु कार्यक्रम को भारी नुकसान हुआ है. उन्होंने कहा कि ईरान हमें मिटाना चाहता है, इसलिए हमने यह ऑपरेशन शुरू किया. हम अपने अस्तित्व के दो सबसे बड़े खतरों को खत्म करने के बहुत करीब हैं.
वहीं, अमेरिका ने भी पुष्टि की कि उसने 'ऑपरेशन मिडनाइट हैमर' के तहत फोर्डो, नतांज और इस्फहान स्थित ईरान की तीन प्रमुख परमाणु साइटों पर हमला किया था. पेंटागन का कहना है कि इन हमलों से ईरान की परमाणु क्षमता को कमजोर किया गया है. इस बीच सफवी का बयान इस ओर इशारा करता है कि ईरान आने वाले समय में न सिर्फ अपनी सैन्य ताकत बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी आक्रामक नीति अपना सकता है. इससे क्षेत्र में तनाव और बढ़ सकता है तथा भविष्य में बड़े संघर्ष की आशंका बनी हुई है.