Himachal Pradesh Rain Alert: हिमाचल प्रदेश इस वक्त भीषण मानसूनी तबाही से जूझ रहा है. लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से राज्य में बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं तेजी से बढ़ गई हैं. अब तक 69 लोगों की मौत हो चुकी है और 40 लोग लापता बताए जा रहे हैं. सबसे ज्यादा नुकसान मंडी जिले में हुआ है, जहां हालात बेहद खराब हैं.
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अनुसार, भारी बारिश से अब तक 400 करोड़ रुपये से ज्यादा की संपत्ति का नुकसान हो चुका है. भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने राज्य के कई जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है और 7 जुलाई तक भारी से बहुत भारी बारिश की चेतावनी दी है.
5 जुलाई को शिमला, सोलन और सिरमौर में और 6 जुलाई को ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, कांगड़ा, चंबा और मंडी में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. बाकी जिलों में येलो अलर्ट लागू है. मौसम विभाग ने कहा है कि कुछ जगहों पर तेज बारिश से फ्लैश फ्लड, भूस्खलन और सड़कें बंद होने का खतरा बना हुआ है.
मंडी जिला सबसे ज्यादा प्रभावित है. यहां 11 मौतें हो चुकी हैं और 34 लोग अब भी लापता हैं. कई गांवों का संपर्क टूट चुका है, बिजली और पानी की सप्लाई भी ठप है. राहत और बचाव कार्यों में NDRF, SDRF, पुलिस और स्थानीय प्रशासन जुटे हुए हैं. कई गांवों में हवाई मदद से खाने-पीने का सामान भेजा जा रहा है.
पूरे राज्य में हालात खराब हैं. करीब 250 सड़कें बंद, 500 से ज्यादा ट्रांसफार्मर ठप और 700 से अधिक पानी की योजनाएं प्रभावित हैं. शिमला में स्कूलों में पानी भर गया है जिससे क्लास रद्द करनी पड़ी. राजधानी के पास फोरलेन सड़क का एक हिस्सा धंस गया, वहीं मंडी में एक घर पूरी तरह से तबाह हो गया.
अधिकारियों का कहना है कि इस तबाही के पीछे जलवायु परिवर्तन और ग्लोबल वॉर्मिंग का हाथ है. राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के विशेष सचिव डीसी राणा ने कहा , 'इस तरह की चरम मौसमी घटनाएं अब सामान्य होती जा रही हैं, इसलिए पहले से तैयारी जरूरी है.' राज्य प्रशासन हाई अलर्ट पर है और लगातार हालात पर नजर बनाए हुए है. लोगों से अपील की गई है कि वे सरकारी निर्देशों का पालन करें और सुरक्षित स्थानों पर रहें.