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India Daily
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जब लंदन की सड़कों पर आई थी बीयर की बाढ़, 15 फीट उफनती लहरों ने ली थी मासूमों की जान

History Of Beer Flood: पानी की जगह बीयर ने शहर को अपने आगोश में ले लिया है. देखा तो नहीं ही होगा लेकिन सुना जरूर होगा. अगर सुना भी नहीं तो हम आपको बीयर वाली बाढ़ का वो किस्सा बताने जा रहे हैं.

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Gyanendra Tiwari
 london beer flood 1814

हाइलाइट्स

  • लंदन की सड़कों पर आई थी बीयर की बाढ़
  • लोगों के घरों के बेसमेंट में जमा हो गई थी बीयर

History Of Beer Flood: बाढ़. अमूमन जब आप यह शब्द सुनते हैं तो चारों ओर पानी ही पानी नजर आता है. लेकिन क्या आपने कभी सुना या देखा कि बीयर की बाढ़ आ गई. पानी की जगह बीयर ने शहर को अपने आगोश में ले लिया है. देखा तो नहीं ही होगा लेकिन सुना जरूर होगा. अगर सुना भी नहीं तो हम आपको बीयर वाली बाढ़ का वो किस्सा बताने जा रहे हैं. बीयर वाली बाढ़ लंदन में आई थी.

किस वर्ष आई थी बीयर वाली बाढ़
तारीख थी 17 अक्टूबर और वर्ष था 1814. इसी दिन लंदन की सड़कों पर बीयर की सुनामी आई थी. शराब की इस बाढ़ में कई मासूमों की मौत हो गई थी. आंकड़ों की मानें तो 8 लोग बीयर बाढ़ का शिकार हुए था.

हॉर्स शू ब्रूअरी भट्टी में घटी घटना
ये पूरा किस्सा लंदन के सेंट गिल्स का है. ये घटना बीयर की एक भट्टी में घटी. इस भट्टी का नाम हॉर्स शू ब्रूअरी था. यहां काले रंग की बीयर पोर्टर ही बनती थी. ड्रिंक इतनी लोकप्रिय थी की इंग्लैंड की बड़ी शराब कंपनी में से एक हेनरी मेव एंड सालभर में 1 लाख बैरल पोर्टर बीयर तैयार की जाती थी.

22 फीट ऊंची लकड़ी की टंकी
बीयर की भट्टी में हॉर्स शू ब्रूअरी में लकड़ी की 22 फीट ऊंची टंकियों में बीयर रखी जाती थी. इन टंकियों के चारों ओर लोहे के बड़े-बड़े छल्ले लगे थे. एक टंकी में लगभग 3,555 बैरल यानी 5 लाख लीटर से अधिक की मात्रा में बीयर रखी जाती थी.

Beer Tank
लकड़ी के टैंक में रखी जाती थी बीयर.


ढीला हो गया था टंकी का छल्ला
इन टंकियों के छल्ले कभी-कभी ढीले हो जाते थे तो उसे मरम्मत करके सही किया जाता था. इसी तरह 17 अक्टूबर 1814 को ड्यूटी पर तैनात क्लर्क जॉर्ज क्रिक टंकी का निरीक्षण करने भंडार गृह में गए. वहां उन्होंने पाया की एक टंकी का छल्ला ढीला है. उस ढीले छल्ले की रिपोर्ट वो अपने से ऊपर वाले अधिकारी को देने के लिए जा रहे थे.

15 फीट उफनती बीयर की लहरें
अमूमन साल में 2 से 3 बार टंकी के छल्ले ढीले हो जाते थे तो ऐसी कोई दिक्कत की बात नहीं थी. लेकिन 17 अक्टूबर 1814 को छल्ले को टाइट करने से पहले ही बड़ा विस्फोट हो गया. लोग कुछ समझ पाते की शहर में 15 फीट उफनती बीयर की लहरें दीवारों को तहस नहस करते आगे बढ़ रही थी. कोई कुछ समझ ही नहीं पाया.

Beer bar fdjkl
बीयर बाढ़ की वजह से ढह गई थी कई इमारतें.

सड़कों पर बह रही थी 320,000 गैलन बीयर
बीयर प्रेमियों की तो मौज आ गई थी. वो सड़क में बह रही शराब को स्टोर करने में लग गए. लेकिन उस बाढ़ से जो तबाही मची उस पर उन्होंने ध्यान नहीं दिया. लकड़ी की 22 फीट ऊंची टंकी में स्टोर की हुई बीयर में जब विस्फोट हुआ तो उसकी वजह से आसपास की टंकी में विस्फोट हो गया. रिपोर्ट्स की मानें तो 320,000 गैलन बीयर सड़कों पर बह रही थी, वो भी ऊंची-ऊंची लहरों के साथ.

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सड़कों पर बह रही थी बीयर.


घरों के बेसमेंट में जमा हो गई थी बीयर
बीयर की बाढ़ इतनी भयानक थी की मानों कोई सुनामी आ गई हो. अपने रास्ते में आने वाली हर एक चीज को बीयर की बाढ़ तबाह करती जा रही थी. इस बीयर बाढ़ में कई घर ढह गए. 8 लोगों की मौत हुई. कई लोग जख्मी हो गए. शहर में जल निकासी की सही व्यवस्था नहीं थी इसलिए लोगों के घरों के बेसमेंट में बियर जमा हो गई थी.


कंपनी को कोर्ट ने बरी घोषित कर दिया
जब ये मामला कोर्ट में गया तो कोर्ट ने इसे दैवीय घटना बताकर कंपनी को बेकसूर घोषित कर दिया. हॉर्स शू शराब भट्टी के मालिकों के खिलाफ कोर्ट ने आदेश में कुछ नहीं कहा. इस घटना के बाद धीरे-धीरे शराब को स्टोर करने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली लकड़ी की टंकी की जंगह कंक्रीट के मजबूत टैंक का इस्तेमाल किया जाने लगा.