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वाटरफॉल में मौज लेना मना है! नाक से आने लगा था खून, 2 हफ्ते बाद निकली जिंदा जोंक

प्रयागराज से एक हैरान करने वाली खबर सामने आई है. यहां वाटरफॉल में नहाते समय एक युवक की नाक में जोंक घुस गई. 15 दिन बाद डॉक्टर ने जोंक को जिंदा निकाला है. डॉक्टरों का कहना है कि नांक के अंदर से जोंक का मिलना यह एक अलग और अद्भुत घटना है. वहीं 10 मिनट की सर्जरी के बाद युवक को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई और अब वह पूरी तरह से स्वस्थ है.

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Edited By: India Daily Live
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Courtesy: social media

उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में एक परेशान करने वाली घटना सामने आई है. यहां वाटरफॉल में नहाते समय एक युवक के नाक में जिंदा जोंक घुस गई. जिसके बाद डॉक्टरों को युवक के नाक की सर्जरी करनी पड़ी. 

दरअसल प्रयागराज का रहने वाला एक व्यक्ति सीशील मवार अपने कुछ दोस्तों के साथ उत्तराखंड में वाटरफॉल में नहाने गया था. यहीं नहाते दौरान उसके नाक में जोंक घुस गई. हालांकि उस समय सीशील को वाटरफॉल की मस्ती में कुछ भी पता नहीं चला लेकिन जब वह घर आया तो उसे अपने नाक में कुछ होने का एहसास हुआ. इस दौरान उसे नाक में बहुत खुजली और एक अजीब सी दर्द महसूस हो रहा था. इस बीच कई बार उसके नाक से खून भी बहने लगा था. 

15 दिन बाद युवक के नाक से निकली जिंदा जोंक

अपने साथ हो रहे इस समस्या को लेकर जब सीशील डॉक्टर के पास पहुंचा तो उसकी जांच हुई. जहां एक्स-रे में पता चला कि उसके नाक में जोंक है जो बिल्कुल उसके नाक में चिपका हुआ था. डॉक्टरों के मुताबिक जोंक युवक के नाक में काफी गहराई में, टर्बिनेट के पीछे छिपा हुआ था और धीरे-धीरे वहां से खून चूस रहा था. 

जांच के बाद अस्पताल के ईएनटी विभाग के सर्जन डॉक्टर सुभाष चंद्र वर्मा ने दूरबीन के माध्यम से नाक की एक छोटी-सी सर्जरी करके नाक को नुकसान पहुंचाए बगैर जोंक को सफलतापूर्वक नाक से बाहर निकाल दिया .

'युवक को हो सकती थी गंभीर समस्या..'


डॉक्टरों के मुताबिक सीशील के नाक में एक ऐसी जोंक थी जो गीले और नमी वाली जगहों पर ही मिलता है और वह जिस जगह चिपक जाता है. उस जगह को बहुत नुकसान पहुंचाता है. वहीं अगर यह जोंक युवक के नाक के जरिए उसके दिमाग में प्रवेश कर जाता तो उसे कई गंभीर समस्या हो सकती थी. 

ENT विभाग के सर्जन डॉक्टर सुभाष चंद्र वर्मा ने बताया कि मरीज उत्तराखंड के एक वाटरफॉल  में 2 हफ्ते पहले नहाया था. ऐसे में सवाल है कि तालाब या पोखर में नहाने वाले लोगों के शरीर के बाहरी हिस्सों में जोंक चिपकने की घटना हो होती रहती है लेकिन नाक के अंदर जिंदा जोंक का मिलना एक बहुत ही दुर्लभ घटना है. शुक्र है कि जोंक नाक के रास्ते दिमाग या आंख में नहीं गया वरना कुछ भी हो सकता था.