PM Modi Bihar Visit: बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'मिशन चंपारण' के तहत शुक्रवार को पूर्वी चंपारण के मोतिहारी से 7217 करोड़ रुपये की विकास योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किये. इस दौरे को सियासी रूप से बेहद अहम माना जा रहा है, क्योंकि बीजेपी का चंपारण बेल्ट पर मजबूत पकड़ रही है और इसी पकड़ को बरकरार रखने के लिए पार्टी रणनीति के तहत काम कर रही है. पीएम मोदी ने अपने संबोधन में बिहार की विकास यात्रा को गति देने का संकल्प दोहराया.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक प्रधानमंत्री ने आईटी, कनेक्टिविटी, स्टार्टअप, रेलवे और सड़क परियोजनाओं का भी तोहफा दिया. जिनमें दो ट्रेनें डीडीयू मंडल से होकर गुजरेंगी. इसके अलावा प्रधानमंत्री ने प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के तहत 40000 लाभार्थियों को 162 करोड़ रुपये की राशि जारी किये और साथ ही 12000 लाभार्थियों का गृह प्रवेश भी होगा.
#WATCH | प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, " ...जैसे अवसर गुरुग्राम में हैं, वैसे ही अवसर गया जी में भी बने। पुणे की तरह पटना में भी औधोगिक विकास हो। सूरत की तरह ही संथाल परगना का भी विकास हो। जयपुर की तरह जलपाईगुड़ी और जाजपुर में भी टूरिज्म के नए रिकॉर्ड बने। बंगलुरु की तरह… https://t.co/BJy34siaPG pic.twitter.com/lW4zybzML4
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 18, 2025
चंपारण बेल्ट में 21 विधानसभा सीटें हैं. पूर्वी चंपारण में 12 और 9 पश्चिमी चंपारण में हैं. 2020 के चुनाव में इनमें से 17 सीटें एनडीए को मिली थीं, जिनमें से 15 बीजेपी ने जीती थीं. इस क्षेत्र को बीजेपी का गढ़ माना जाता है और प्रधानमंत्री का यह दौरा पार्टी की चुनावी तैयारियों को मजबूती देने वाला है.
2015 में नीतीश कुमार के एनडीए से अलग होने पर बीजेपी को चंपारण क्षेत्र में नुकसान हुआ था, लेकिन 2020 में उनके दोबारा गठबंधन में आने से बीजेपी को फायदा मिला. अब 2025 के चुनाव को देखते हुए बीजेपी फिर से चंपारण बेल्ट में जीत दोहराना चाहती है. मोतिहारी दौरे से प्रधानमंत्री का फोकस न केवल जीती हुई सीटों पर पकड़ बनाए रखना है, बल्कि हार चुकी 4 सीटों को भी फिर से जीतने की कोशिश है.
बीजेपी सांसद राधा मोहन सिंह और संजय जायसवाल इस क्षेत्र से लगातार जीतते आ रहे हैं, जिससे यह इलाका बीजेपी के लिए रणनीतिक रूप से बेहद अहम बन गया है. प्रधानमंत्री मोदी इस साल अब तक पांच बार बिहार दौरे पर आ चुके हैं और 80000 करोड़ से अधिक की विकास योजनाओं की सौगात दे चुके हैं.