इंडिया डेली हर रोज जनता के बीच जाकर जनता से जुड़े मुद्दे उठाता है. इस कड़ी में टीम हरियाणा पहुंची, कौशल रोजगार योजना की पड़ताल करने. एक तरफ हरियाणा सरकार कौशल रोजगार योजना के तहत एक लाख रोजगार देने का दावा कर रही है. दूसरी तरफ विपक्ष इसे लेकर सवाल उठा रहा है. ऐसे हम उन युवाओं के बीच पहुंचे जिन्हें इस योजना से नौकरी मिली है.
सरकार कहती है कि अब हरियाणा में बिना खर्चा और बिना पर्चा के रोजगार मिल रहा है. सैनी सरकार ने कॉन्ट्रैक्ट कर्मियों के लिए हाल में ही अध्यादेश जारी किया. अब कॉन्ट्रेक्ट कर्मचारी रियार्मेंट तक काम करेंगे. गेस्ट टेचर को भी सभी सुविधा मिलेगी. हरियाणा सरकार द्वारा कौशल रोजगार निगम शुरू करने का मुख्य उद्देश्य आउटसोर्सिंग भर्ती में होने वाले भ्रष्टाचार को रोकना और ऑनलाइन प्रक्रिया के माध्यम से भर्ती कर रोजगार देना है. ताकि राज्य के बेरोजगार शिक्षित युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान किए जा सके.
हालांकि जिन्हें नौकरी मिली है, वो भी धरना दे रहे हैं. धरना दे रहे लोगों का कहना है कि हमारी मांग नहीं मानी जा रही है. जितनी सैलरी बोली गई थी उतनी नहीं दी जा रही है. हमारी सैलरी पर जीएसटी काटी जा रही है. पड़ताल में पता चला कि जितनी सैलरी बताई गई थी उतनी नहीं मिल रही. इससे कर्मचारी नाराज हैं.
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