Chhattisgarh Flood: छत्तीसगढ़ में सोमवार को भारी बारिश और अचानक आए बाढ़ जैसे हालातों ने कई जिलों में दर्दनाक हादसे कर दिए. तीन अलग-अलग घटनाओं में कुल 17 लोग पानी में बहे, जिनमें से 3 बच्चों की मौत हो गई, 11 को बचा लिया गया जबकि 3 की तलाश अब भी जारी है.
पहली घटना बिलासपुर जिले के कोटा थाना क्षेत्र की है, जहां बलौदाबाजार जिले के ध्रुव परिवार के लोग मरहीमाता मंदिर दर्शन करने आए थे. दर्शन के बाद लौटते समय अचानक नाले में तेज बहाव आ गया. श्रद्धालुओं से भरी बस के चालक ने खतरे को देखते हुए सभी को बस से नीचे उतारा और पैदल नाला पार करने के लिए कहा. इस दौरान परिवार के छह सदस्य बह गए. इनमें से तीन बच्चों के शव बरामद हुए हैं. एक युवक बलराम ध्रुव की तलाश अब भी जारी है, जबकि दो लोगों को सुरक्षित बचा लिया गया.
जांजगीर-चांपा जिले के पचपेड़ी थाना क्षेत्र की है. यहां टांगर गांव का 12 वर्षीय बालक साइकिल से लीलगर नदी पर बने एनीकट को पार कर रहा था. एनीकट के ऊपर से करीब एक फुट पानी बह रहा था, जिससे साइकिल अनियंत्रित होकर पानी में जा गिरी और बच्चा बह गया. स्थानीय लोगों ने साइकिल तो निकाल ली, लेकिन बच्चे का कोई पता नहीं चला. एसडीआरएफ और पुलिस की टीम उसकी तलाश में जुटी है.
बीजापुर जिले की है. यहां इंद्रावती नदी में एहकेली गांव से नलगोंडा जा रही नाव तेज बहाव में पलट गई. नाव में कुल 11 लोग सवार थे जिनमें से 9 को बचा लिया गया लेकिन 10 वर्षीय मनीषा और 11 वर्षीय शर्मिला उज्जी नदी में बह गईं. मां को सुरक्षित निकाल लिया गया है. नगर सेना और गोताखोरों की टीम बच्चियों की तलाश में जुटी हुई है.
बिलासपुर की घटना में मृत बच्चों के शवों को टेंगनमाड़ा स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया और बाद में कोटा भेजा गया. हादसे के बाद ध्रुव परिवार गहरे सदमे में है. महिलाओं को रोते-बिलखते देख घर भेज दिया गया. भारी बारिश और उफनते नालों के कारण बचाव कार्य में कई जगह दिक्कतें आ रही हैं. पुलिस और एसडीआरएफ की टीमें लगातार तलाश अभियान चला रही हैं. प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे नदी-नालों और एनीकट को पार करने से बचें.