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जापान में फैली 'मांसाहारी बैक्टीरिया,' दहशत में लोग, क्या है यह नई बला? जानिए सबकुछ

Flesh Eating Bacteria:जापान में स्ट्रेप्टोकोकल टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम नाम की बेहद गंभीर दुर्लभ बीमारी तेजी से फैल रही है. बताया जा रहा है कि इस बीमारी से लोग 48 घंटों में इंसान मौत हो सकती है. इसके साथ 50 साल से ज्यादा उम्र के लोगों को इस बीमारी का खतरा है. इस दौरान शरीर के हिस्सों में दर्द और सूजन, बुखार, लो ब्लड प्रेशर जैसे लक्षण भी नजर आते हैं.

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Edited By: India Daily Live
Japan STSS Cases
Courtesy: Freepik

Japan STSS Cases: इन दिनों जापान में एक खतरनाक और दुर्लभ बीमारी  तेजी से फैल रही है. इसका नाम स्ट्रेप्टोकोकल टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम है (STSS). मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक यह रोग मांस खाने वाले बैक्टीरिया से होती है. पहले की तुलना में यह अब तेजी से फैल रही है खासकर जापान की राजधानी टोक्यो में. 

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार यह एक ऐसी दुर्लभ बीमारी है जिससे  48 घंटे के अंदर लोगों की मौत हो सकती है. 2 जून को जापान में स्ट्रेप्टोकोकल टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम के 977 मामले दर्ज किए गए हैं. जो पिछले साल रिकॉर्ड किए गए मामलों से ज्यादा है. बता दें पिछले साल 941 मामले पाए गए थे. 

क्या है लक्षण?

आमतौर पर ग्रुप A स्ट्रेप्टोकोकस (GAS) बच्चों तो सूजन और गले में खराश के वजह से होती है जिसे  "स्ट्रेप थ्रोट" कहा जाता है. लेकिन कुछ प्रकार के बैक्टीरिया रे वजह से शरीर के हिस्सों में दर्द और सूजन, बुखार, लो ब्लड प्रेशर जैसे लक्षण भी नजर  आ सकते हैं . यह आगे जाकर नेक्रोसिस, सांस लेने में समस्या,  ऑर्गन फेलियर, और मौत भी हो सकती है. इस बीमारी का खतरा 50  से ज्यादा उम्र के लोगों को होता है.

एक्सपर्ट ने दिया सुझाव

केन किकुची, टोक्यो वीमेन मेडिकल यूनिवर्सिटी में इंफेक्शन बीमारी प्रोफेसर ने बताया, "जैसे ही किसी पेशेंट को सुबह में पैर में सूजन दिखाई देती है, दोपहर तक यह घुटने तक फैल सकती है, और 48 घंटों के अंदर मौत हो सकती है." किकुची ने आगे कहा कि इंफेक्शन की वर्तमान में जापान में मामलों की संख्या इस साल 2,500 तक पहुंच सकती है जिसमें डेथ रेट  30% होगी. इसके साथ उन्होंने लोगों को हाथ की स्वच्छता बनाए रखने और किसी भी खुले घाव का इलाज करने का सुझाव दिया है.

अन्य देशों में भी देखी गई बीमारी

हाल ही में अन्य देशों में यह बीमारी देखी गई है, 2022 के अंत में कम से कम पांच यूरोपीय देशों ने WHO को  iGAS बीमारी के मामलों की जानकारी दी थी जिसमें STSS भी शामिल है. WHO ने कहा कि मामलों में कोविड पर लगे प्रतिबंध समाप्त होने के बाद हुई है.

Disclaimer: यहां दी गई सभी जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है.  theindiadaily.com  इन मान्यताओं और जानकारियों की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह ले लें.