नई दिल्ली: डॉ. मोहम्मद यूनुस की लीडरशिप वाली बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने उन रिपोर्ट्स को पूरी तरह से गलत बताया है जिनमें दावा किया गया था कि उन्होंने एक पाकिस्तानी मिलिट्री ऑफिसर को एक मैप गिफ्ट किया था. मैप में भारत के नॉर्थ-ईस्ट राज्यों को बांग्लादेश का हिस्सा दिखाया गया था. सरकार ने सोमवार को एक ऑफिशियल सफाई जारी करते हुए इन रिपोर्ट्स को झूठी, गुमराह करने वाली और मनगढ़ंत बताया.
बयान के मुताबिक, मोहम्मद यूनुस ने पाकिस्तान की जॉइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ कमेटी के चेयरमैन जनरल साहिर शमशाद मिर्जा को 'द आर्ट ऑफ ट्रायम्फ' नाम की एक किताब गिफ्ट की थी. सरकार ने साफ किया कि यह किताब कोई पॉलिटिकल या ज्योग्राफिकल डॉक्यूमेंट नहीं है, बल्कि ढाका और दूसरे शहरों में जुलाई में हुए विद्रोह के दौरान स्टूडेंट्स द्वारा बनाई गई ग्रैफिटी आर्टवर्क का कलेक्शन है. यह किताब रंगीन तस्वीरों के जरिए बांग्लादेश के स्टूडेंट आंदोलनों, संघर्षों और कुर्बानियों की भावना को दिखाती है.
यह विवाद तब शुरू हुआ जब कुछ रिपोर्ट्स में दावा किया गया कि किताब के कवर पर एक मैप है जिसमें भारत के नॉर्थ-ईस्ट इलाकों को बांग्लादेश का हिस्सा दिखाया गया है. सरकार ने दावे को से खारिज कर दिया यह कहते हुए कि यह मनगढ़ंत और बेबुनियाद है. अधिकारियों ने बताया कि कवर आर्ट में शहीद अबू सईद की तस्वीर के पीछे लाल रंग से पेंट किया गया बांग्लादेश का एक आर्टिस्टिक मैप है. क्योंकि यह एक क्रिएटिव आर्टवर्क है, बॉर्डर की आउटलाइन में छोटे-मोटे अंतर होना आम है और इसका कोई राजनीतिक या भौगोलिक इरादा नहीं है.
सरकार ने आगे साफ किया कि जब आर्टवर्क की तुलना बांग्लादेश के ऑफिशियल मैप से की गई, तो कोई खास अंतर नहीं मिला. बयान में नागरिकों और मीडिया से फेक न्यूज पर विश्वास करने या उन्हें फैलाने से बचने की अपील की गई, क्योंकि ऐसी गलत जानकारी देश की इंटरनेशनल इमेज को नुकसान पहुंचा सकती है.
इसके अलावा, सरकार ने चेतावनी दी कि ऑनलाइन या मीडिया प्लेटफॉर्म के जरिए झूठी और गुमराह करने वाली जानकारी फैलाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा सकती है. अधिकारियों ने इस बात पर जोर दिया कि मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार देश में शांति, स्थिरता और एकता बनाए रखने पर फोकस कर रही है.