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इजरायल ने हवाई अड्डे पर ईरानी F-5 लड़ाकू विमानों को किया नष्ट, जारी किया Video

रविवार को इजरायली रक्षा बलों (आईडीएफ) द्वारा जारी फुटेज में बलों को हवाई अड्डे पर एक विमान को नष्ट करते हुए दिखाया गया. सेना ने बताया कि इसके अलावा, आठ लांचर भी नष्ट कर दिए गए, जिनमें से छह इजरायली क्षेत्र की ओर मिसाइल दागने के लिए तैयार थे.

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Edited By: Gyanendra Sharma
Iran Israel war
Courtesy: Social Media

इजरायली सेना ने शनिवार को ईरान के एक दर्जन सैन्य ठिकानों पर हमला किया, जिसमें इस्लामी देश के खुज़स्तान प्रांत के देज़फुल हवाई अड्डे पर दो एफ-5 लड़ाकू विमान भी शामिल थे. एफ-5, शाह के काल के ईरान के लड़ाकू विमानों के पुराने बेड़े का हिस्सा हैं. 

रविवार को इजरायली रक्षा बलों (आईडीएफ) द्वारा जारी  फुटेज में बलों को हवाई अड्डे पर एक विमान को नष्ट करते हुए दिखाया गया. सेना ने बताया कि इसके अलावा, आठ लांचर भी नष्ट कर दिए गए, जिनमें से छह इजरायली क्षेत्र की ओर मिसाइल दागने के लिए तैयार थे. 

आईडीएफ ने कहा कि करीब 20 आईएएफ लड़ाकू विमानों ने शनिवार को ईरान में दर्जनों सैन्य ठिकानों पर हमला किया. जिन लक्ष्यों पर हमला किया गया, उनमें विस्फोटक सामग्री, हथियार भंडारण और उत्पादन सुविधाएं और ईरानी हवाई रक्षा प्रणाली बनाने के लिए घटक रखने वाली एक सैन्य साइट शामिल थी. 

उन्होंने बताया कि इजरायली सेना ने इस्फ़हान हवाई अड्डे पर सैन्य बुनियादी ढांचे पर भी हमला किया, ताकि ईरानी वायु सेना को सैन्य बुनियादी ढांचे के उपयोग से रोका जा सके. इजरायल और ईरान के बीच तनाव रविवार को बढ़ गया जब अमेरिका ने इजरायली सैन्य अभियान में शामिल होकर ईरान के तीन परमाणु स्थलों को निशाना बनाया.  फोर्डो, नतांज और एस्फाहान स्थलों पर हमला कई दिनों के विचार-विमर्श के बाद तथा अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा निर्णय लेने के लिए स्वयं निर्धारित दो सप्ताह की समय-सीमा से काफी पहले हुआ. 

अमेरिकी बी-2 स्पिरिट बमवर्षक विमानों ने मिसौरी से लगभग 37 घंटे तक बिना रुके उड़ान भरी और ईरान के परमाणु कार्यक्रम पर हमला किया.  बंकर-बस्टर बम और टॉमहॉक मिसाइलों के संयोजन से किए गए ये हमले, ईरान के खिलाफ़ वर्षों में सबसे प्रत्यक्ष अमेरिकी सैन्य कार्रवाई थी. ट्रंप ने कहा कि फ़ोर्डो पर छह बंकर-बस्टर बम गिराए गए और लगभग 30 टॉमहॉक मिसाइलों ने अन्य परमाणु प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया. उन्होंने तेहरान को चेतावनी दी कि यदि उसने इजराइल के साथ संघर्ष समाप्त नहीं किया तो उसे "बहुत अधिक" परिणाम भुगतने होंगे.