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India Daily

अवैध प्रवासियों को वापस भेजने पर बौखलाया बांग्लादेश, कहा- जरूरत पड़ी तो भारत...

बांग्लादेश सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को कहा कि भारतीय अधिकारियों द्वारा बिना दस्तावेज़ वाले लोगों को सीमा पार "धकेलना" पूरी तरह "अस्वीकार्य" है. 2016 के सरकारी अनुमान के मुताबिक, भारत में लगभग 2 करोड़ अवैध प्रवासी रह रहे हैं.

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Edited By: Garima Singh
Illegal bangladeshi in india
Courtesy: X

Illegal bangladeshi in india: बांग्लादेश सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को कहा कि भारतीय अधिकारियों द्वारा बिना दस्तावेज़ वाले लोगों को सीमा पार "धकेलना" पूरी तरह "अस्वीकार्य" है. इन दिनों भारत सरकार अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों को भारतीय अधिकारी पकड़कर बीजीबी को सौंप रहे है. इसपर सैन्य अभियान निदेशालय (MOD) के निदेशक ब्रिगेडियर जनरल मोहम्मद नाज़िम-उद-दौला ने कहा कि, 'बॉर्डर गार्ड बांग्लादेश (बीजीबी) वर्तमान में सीमा पर स्थिति को प्रभावी ढंग से नियंत्रित कर रहा है. उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार के निर्देश मिले, तो बांग्लादेश सेना आवश्यक कदम उठाने के लिए पूरी तरह तैयार है.'

2016 के सरकारी अनुमान के मुताबिक, भारत में लगभग 2 करोड़ अवैध प्रवासी रह रहे हैं. इस साल 30 अप्रैल तक, लगभग 100 बांग्लादेशी नागरिकों को बीजीबी को सौंपा गया, जबकि 2024 में कुल 295 लोगों को वापस भेजा गया था. हाल ही में, जयपुर, अहमदाबाद, और सूरत में सैकड़ों अवैध प्रवासियों को हिरासत में लिया गया. कोलकाता में एक हिट-एंड-रन मामले में गिरफ्तार एक बांग्लादेशी नागरिक, आज़ाद शेख, के मामले ने भी इस मुद्दे को सुर्खियों में ला दिया. 

सेना और सरकार के बीच समन्वय

नाज़िम-उद-दौला ने कार्यवाहक सरकार और सेना के बीच तनाव की खबरों को खारिज करते हुए कहा, "सरकार और बांग्लादेशी सेना निकट समन्वय के साथ काम कर रही हैं और एक-दूसरे की पूरक हैं. हम सरकार के निर्देशों का पालन करते हैं. इसे अन्यथा व्याख्या करने का कोई कारण नहीं है.' ढाका स्थित 'द डेली स्टार' ने उनके हवाले से कहा, "कभी-कभी परिवारों में भी गलतफहमियां हो सकती हैं. इसी तरह, देश चलाने के दौरान अलग-अलग हितधारक अलग-अलग राय व्यक्त कर सकते हैं. लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि कोई विभाजन या संघर्ष है। ऐसा कुछ भी नहीं हुआ है.'

कूटनीति पर जोर

बांग्लादेश के गृह मामलों के सलाहकार लेफ्टिनेंट जनरल मोहम्मद जहांगीर आलम चौधरी (सेवानिवृत्त) ने कहा, "यदि कोई बांग्लादेशी अप्रवासी भारत में अवैध रूप से रह रहा है, तो उसे उचित माध्यम से वापस भेजा जाना चाहिए.' ढाका ट्रिब्यून ने उनके हवाले से कहा कि बांग्लादेश दबाव बनाने की नीति में विश्वास नहीं करता, बल्कि कूटनीति के जरिए समाधान निकालने को प्राथमिकता देता है. विदेश मंत्रालय ने इस मुद्दे पर भारत को पत्र लिखा है, और विदेश मामलों के सलाहकार तौहीद हुसैन व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार खलीलुर रहमान कूटनीतिक संवाद को आगे बढ़ा रहे हैं. 

सीमा सुरक्षा और चुनौतियां

भारत और बांग्लादेश के बीच 4,096.7 किलोमीटर लंबी सीमा नदियों, द्वीपों और घनी आबादी वाले इलाकों से होकर गुजरती है. भारत ने इस सीमा के 3,232 किलोमीटर हिस्से पर बाड़ लगाई है, लेकिन बीजीबी ने कुछ क्षेत्रों में इसे रोकने की कोशिश की है. 1975 के समझौते के कारण भी बाड़ लगाने में बाधाएं आ रही हैं. पश्चिम बंगाल और असम जैसे राज्य अवैध प्रवास से सबसे अधिक प्रभावित हैं, और हाल के दंगों में भी इसे एक कारण माना गया है.