महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) के कार्यकर्ताओं ने शनिवार को मुंबई में निवेश विश्लेषक सुशील केडिया के कार्यालय में तोड़फोड़ की, जिसके बाद पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया. दरअसल केडिया का एक वीडियो वायरल हुआ था जिसमें उन्होंने कहा था कि वे 30 साल से मुंबई में रहने के बावजूद मराठी नहीं बोल पाते और मनसे को उनके खिलाफ कार्रवाई करने की चुनौती दी थी.
वर्ली में केडिया के ऑफिस पर हमला
मुंबई के वर्ली में सेंचुरी बाजार के पास वीवर्क कार्यालय पर मनसे कार्यकर्ताओं ने नारेबाजी की और दरवाजे पर नारियल फेंके. सिक्योरिटी गार्ड्स को तोड़फोड़ रोकने में मुश्किल का सामना करना पड़ा जबकि मनसे के कार्यकर्ता मराठी भाषा और मनसे प्रमुख राज ठाकरे की प्रशंसा में नारे लगाते नजर आए.
मराठी न बोलने पर मिठाई दुकानदार को मारा था थप्पड़
इस घटना ने महाराष्ट्र में राजनीतिक तनाव को बढ़ा दिया, खासकर तब जब हाल ही में मीरा भायंदर में एक मिठाई दुकानदार को मराठी न बोलने पर मनसे कार्यकर्ताओं ने कथित तौर पर थप्पड़ मारा था.
सुशील केडिया ने मांगी माफी
शनिवार को चार मिनट के वीडियो में केडिया ने राज ठाकरे से माफी मांगी. उन्होंने कहा, “मेरा ट्वीट गलत मानसिक स्थिति, दबाव और तनाव में किया गया था और अब इसे तोड़-मरोड़ कर विवाद पैदा करने वालों के हित में इस्तेमाल किया जा रहा है. मराठी न बोलने वालों पर हिंसा के दबाव में मैंने अतिप्रतिक्रिया दी. मैं अपनी गलती वापस लेता हूं.”
उन्होंने आगे कहा, “सच यह है कि 30 साल मुंबई में रहने के बाद भी, एक मूल मराठी व्यक्ति की तरह धाराप्रवाह मराठी बोलना हम नहीं सीख सकते. डर के माहौल में, अगर कोई शब्द गलत बोल दिया जाए, तो उसे मराठी का अपमान समझकर बड़ा विवाद बनाया जा सकता है. ऐसे माहौल में दम घुट जाता है.”
राज ठाकरे को बताया ‘हीरो’
केडिया ने राज ठाकरे को “हीरो” बताते हुए कहा, “मैंने हमेशा उनके मजबूत मुद्दों की सराहना की है. तनाव और जल्दबाजी में किया गया मेरा ट्वीट गलत समझा गया. जब अपने ही लोग हमें दबाव में डालते हैं, तो गलतियां होती हैं. मैं अपनी गलती स्वीकार करता हूं और क्षमा की याचना करता हूं.”