Lok Sabha Elections 2024: लोकसभा चुनाव 2024 में दो चरणों के चुनाव बीत चुके हैं. चुनाव आयोग ने मंगलवार को अब तक हुए मतदान का एक डेटा जारी किया है, जिससे यह पता लगा है कि 83 प्रतिशत संसदीय क्षेत्रों में वोटिंग कम हुई है. चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबि पहले चरण के चुनवा में 66.14 प्रतिशत वोटिंग हुई, वहीं दूसरे चरण की वोटिंग में 66.71 प्रतिशत वोट पड़े. साल 2019 में इन्हीं सीटों पर 69.4 प्रतिशत और 69.6 प्रतिशत वोट पड़े थे. मतदान के अंतिम और वास्तविक आंकड़े बैलेट पेपर की गिनती के बाद ही जारी किए जाएंगे.
राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के संदर्भ में, पहले चरण में मतदान करने वाले 19 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में से जहां 2019 के साथ तुलना संभव है, 16 में गिरावट देखी गई, जबकि दूसरे चरण में 11 प्रांतों में से आठ में मतदान में गिरावट देखी गई.
किन राज्यों में हुआ है सबसे कम मतदान?
नागालैंड में 2019 की तुलना में 25.2 प्रतिशत अंक की गिरावट देखी गई है.
मध्य प्रदेश में 13 प्रतिशत गिरावट आई है.
उत्तर प्रदेश में 11.6 प्रतिशत मतदान में गिरावट आई है.
केरल में 10 प्रतिशत से ज्यादा की गिरावट आई है.
महिला या पुरुष, किसने ज्यादा किया वोट?
पहले दौर की वोटिंग में 66.22 प्रतिशत पुरुषों ने वोट किया, वहीं 66.07 प्रतिशत महिलाओं ने भी वोट किया. थर्ड जेंडर के 31.32 प्रतिशत लोगों ने वोट किया है. दूसरे चरण में 66.9 प्रतिशत पुरुषों ने वोट किया, वहीं 66.42 प्रतिशत महिलाओं ने भी वोट किया. थर्ड जेंडर कम्युनिटी के 24 प्रतिशत लोगों ने वोट किया.
चुनाव आयोग विपक्ष पर उठा रहा सवाल?
कांग्रेस महासचिव ने आंकड़ों पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने X पर पोस्ट किया, 'ऐसा पहली बार हो रहा है कि पहले चरण के मतदान के 11 दिन बाद और दूसरे चरण के चार दिन बाद भी चुनाव आयोग ने मतदान प्रतिशत का अंतिम डेटा जारी नहीं किया है. पहले चुनाव आयोग मतदान के तुरंत बाद या 24 घंटों के भीतर मतदान प्रतिशत का अंतिम डेटा जारी करता था. चुनाव आयोग की वेबसाइट पर केवल अनुमानित रुझान आंकड़े ही उपलब्ध हैं. इस देरी का कारण क्या है?'
जयराम रमेश ने सवाल उठाया, 'इसके अलावा प्रत्येक लोकसभा क्षेत्र और उन लोकसभा क्षेत्रों में शामिल विधानसभाओं में पंजीकृत मतदाताओं की संख्या भी आयोग की वेबसाइट पर उपलब्ध नहीं है. अभी एक चुनिंदा राज्य की बूथ-वार मतदान सूचियां ही दिख रही हैं. भारत के निर्वाचन आयोग के लिए आवश्यक है कि चुनाव संबंधी सभी आंकड़े समय पर और पारदर्शी ढंग से जारी हो.'
तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरेक ओक ब्रायन ने चुनाव आयोग के आंकड़ों पर सवाल उठाया है. उन्होंने कहा है कि दूसरे चरण के खत्म होने 4 दिन बाद अंतिम आंकड़े आ रहे हैं. चुनाव आयोग के 4 दिन पहले जारी किए गए आंकड़ों में 5.75 प्रतिशत का इजाफा हुआ है. क्या यह सामान्य है या कुछ छूट रहा है.