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India Daily

स्वतंत्रता दिवस पर अंटार्कटिका में शख्स ने फहराया तिरंगा, Video देख हर हिंदूस्तानी का सीना गर्व से हो जाएगा चौड़ा

एक भारतीय नागरिक ने अंटार्कटिका, जो पृथ्वी का सबसे ठंडा स्थान है वहां भारत के तिरंगे को फहराकर हर भारतीय को गर्व महसूस कराया. यह अद्भुत वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है, जिसमें एक शख्स मोहित शर्मा को अंटार्कटिका के बर्फीले मौसम में तिरंगा लहराते हुए देखा जा सकता है.

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Edited By: Princy Sharma
Indian Man Waves Tricolour In Antarctica
Courtesy: Instagram

Indian Man Waves Tricolour In Antarctica: प्रधानमंत्री नरेंद्र ने 15 अगस्त को लाल किले की प्राचीर से भारत का तिरंगा फहराया, वहीं इसके साथ ही एक और प्रेरणादायक घटना ने पूरे देश को गौरवान्वित कर दिया. एक भारतीय नागरिक ने अंटार्कटिका, जो पृथ्वी का सबसे ठंडा स्थान है वहां भारत के तिरंगे को फहराकर हर भारतीय को गर्व महसूस कराया.

यह अद्भुत वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है, जिसमें एक शख्स मोहित शर्मा को अंटार्कटिका के बर्फीले मौसम में तिरंगा लहराते हुए देखा जा सकता है. इस वीडियो को उन्होंने संस्कृति मंत्रालय के सहयोग से शेयर किया और इसे 'पृथ्वी के सबसे ठंडे स्थान और सबसे दक्षिणी महाद्वीप से स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं' के कैप्शन के साथ पोस्ट किया.

वीडियो हुआ वायरल

इस वीडियो में मोहित शर्मा ने बर्फ से ढके अंटार्कटिका में अपनी हिम्मत और देशप्रेम का परिचय दिया. बर्फीली और फिसलन वाली जमीन पर तिरंगा लहराते हुए उनके इस कारनामे ने हजारों किलोमीटर दूर बैठे भारतीयों को प्रेरित किया. वीडियो को अब तक लगभग 55,000 व्यूज मिल चुके हैं और लोग उनकी बहादुरी और देशभक्ति की तारीफ कर रहे हैं.

एक यूजर ने टिप्पणी की, 'वो फिसलन वाली बर्फ और आपकी ताकत! आप हमें गर्व महसूस कराते हो भाई.' वहीं एक अन्य यूजर ने लिखा, 'भगवान आपका भला करे. आपको स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं!'

अंटार्कटिका का बर्फीला माहौल और देशभक्ति

अंटार्कटिका में तिरंगा फहराने से पहले, स्टेशन पर काम करने वाले कर्मचारियों ने बर्फ हटाकर फ्लैगपोल के लिए जगह बनाई और फिर क्रेन की मदद से तिरंगा फहराने की व्यवस्था की. 

धरती का सबसे ठंडा स्थान

अंटार्कटिका को पृथ्वी का सबसे ठंडा स्थान माना जाता है, जहां तापमान अक्सर -60 डिग्री सेल्सियस से नीचे चला जाता है. वोस्तोक स्टेशन, जो रूस का एक अनुसंधान केंद्र है, यहां जुलाई 1983 में -89.2 डिग्री सेल्सियस तक तापमान गिर चुका था. ऐसे में, वहां तिरंगा फहराना वाकई एक अद्वितीय साहसिक कदम है.