Headphones Volume Level: पॉपुलर प्लेबैक सिंगर अलका याग्निक के बारे में तो आपने सुना होगा. उन्होंने अपने सुनने की क्षमता खो दी है. इन्हें सेंसरी न्यूररल नर्व हियरिंग लॉस हुआ है जिसके चलते ये कुछ भी सुन नहीं पा रही हैं. ऐसे में अलका ने लोगों को तेज आवाज में गानें न सुनने की सलाह दी है. ऐसे में हर किसी के लिए यह जानना जरूरी है कि हेडफोन लगाते समय उसकी वॉल्यूम कितनी होनी चाहिए.
आज के समय में ईयरफोन्स का इस्तेमाल बहुत ज्यादा होने लगता है. बड़ों से लेकर बच्चों तक हर कोई इनका इस्तेमाल कर रहा है. चाहें गाने सुनने हो या फिर ऑनलाइन क्लास लेनी हो, इनका इस्तेमाल रेगुलर तौर पर किया जा रहा है. अगर आप ज्यादा देर तक ईयरफोन्स लगाकर रखते हैं तो आपको हियरिंग लॉस जैसी समस्या आ सकती है. तो चलिए जानते हैं हेडफोन कितनी देर तक और कितनी वॉल्यूम तक कानों में लगाना सही रहेगा.
हेडफोन कितनी देर तक और कितनी वॉल्यूम तक सेफ रहेंगे?
विशेषज्ञ हियरिंग लॉस की समस्या से बचने के लिए वॉल्यूम को मैक्सिमम 60% तक रखने की सलाह देते हैं. हालांकि, इससे कम वॉल्यूम रखेंगे तो भी बेहतर रहेगा. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने सुझाव देते हुए कहा है कि कानों को हेडफोन से सुरक्षित रखने के लिए नॉइस लेवल का बेहद ही कम होना जरूरी है. अगर आप लंबे समय तक हेडफोन इस्तेमाल करना चाहते हैं तो वॉल्यूम को कम ही रखें.
हेडफोन्स का इस्तेमाल कानों में 15 से 20 मिनट से ज्यादा नहीं करना चाहिए. इस दौरान भी वॉल्यूम कम ही होनी चाहिए. एक रिपोर्ट के अनुसार 0dB सबसे कम आवाज है जिसे एक हेल्दी ह्यूमन ईयर सुन सकता है. वहीं, लाइब्रेरी की साउंड 40dB होती है जिससे कानों को नुकसान नहीं पहुंचता है. बता दें कि 85dB या इससे ज्यादा आवाज में गाने सुनने पर नॉइज इंड्यूस्ड हियरिंग लॉस (NIHL) हो सकता है. ऐसे में कभी भी हेडफोन या ईयरफोन इस्तेमाल करते समय तेज वॉल्यूम न रखें.