नई दिल्ली: जब से iPhone 17 Pro Max लॉन्च हुआ है, तब से यह चर्चा का विषय बना हुआ है. इसके कलर्स को लेकर काफी चर्चा तेज हो गई है. जब इसका ऑरेंज कलर सामने आया तो इसे लोगों ने केसरिया या गेरुआ कलर बताया. लेकिन अब इसके कलर को लेकर एक अलग चर्चा चल रही है. अब लोग सवाल कर रहे हैं कि क्या एप्पल ने चुपके से iPhone 17 Pro Max का पिंक कलर लॉन्च कर दिया है?
इस चर्चा तब शुरू हुई जब रेडिट पर एक यूजर ने अपने iPhone 17 Pro Max कॉस्मिक मॉडल की एक फोटो पोस्ट की. इसमें फोन का कुछ हिस्सा पिंक कलर का दिखाई दे रहा था. यह फोटो काफी तेजी से वायरल हुई और तुरंत ही इसे लेकर बहस छिड़ गई. कई लोगों ने इसे लेकर अलग-अलग तर्क दिए.
कई लोग इस नए कलर से खुश नजर आए, तो वहीं कई यूजर्स ने इस इमेज को फेक बताया. फोटो के वायरल होते ही टिकटॉक पर भी पिंक आईफोन दिखाने का दावा करने वाली एक पोस्ट भी वायरल होने लगी. इससे लोगों के बीच कंफ्यूजन और बढ़ गया. इस पोस्ट के वायरल होने के बाद कलर बदलने की असली वजह सामने आई.
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byu/levijohnson1 from discussion
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यह बदलाव एप्पल के किसी नए डिजाइन की वजह से नहीं था, बल्कि यह लोगों के सफाई की वजह है. लोग इस तरह से फोन को साफ कर रहे हैं कि इसका कलर निकलने लगा है. कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार iPhone 17 Pro का चेसिस एनोडाइज्ड एल्यूमीनियम से बना है. अगर इसे साफ करने के लिए क्लीनिंग एजेंट का इस्तेमाल किया जाता है तो यह मैटीरियल आर्टिफिशियल ऑक्साइड लेयर और कलर में बदलाव का कारण बन सकता है.
यह खासतौर पर तब होता है, जब ऑक्साइड लेयर पेरोक्साइड-बेस्ड क्लीनर के कॉन्टैक्ट में आती है. इससे यह मेटल के नीचे मौजूद सॉल्वेंट के साथ रिएक्ट करती है. इस रिएक्शन के चलते मेटैलिक साइड पैनल गुलाबी हो रहे हैं.
आईफोन को साफ करने के लिए 70% आइसोप्रोपाइल अल्कोहल वाइप्स, 70% एथिल अल्कोहल वाइप्स या क्लॉरॉक्स डिसइंफेक्टिंग वाइप्स का इस्तेमाल करें.
फोन के एक्सटर्नल पार्ट को हल्के हाथ से साफ करना चाहिए.
ब्लीच या हाइड्रोजन पेरोक्साइड का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए.
किसी भी पोर्ट को मॉइश्चर के कॉन्टैक्ट में न लाएं.
आईफोन को कभी भी किसी क्लीनिंग एजेंट में न डुबाएं.
फोन को साफ करने के बाद उसे सूखे कपड़े से सुखाएं.