भारत को पहली बार वनडे वर्ल्ड कप दिलाने वाले कप्तान कपिल देव ने चैंपियंस ट्रॉफी से पहले खिलाड़ियों के चोटिल होने को लेकर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा ज्यादा क्रिकेट खेलना टीम इंडिया के खिलाड़ियों के चोटिल होने की प्रमुख वजह है. जसप्रीत बुमराह के चोटिल होने से टीम इंडिया की तैयारियों को तगड़ा झटका लगा है. बुमराह भारत की तरफ से इंटरनेशनल क्रिकेट में गजब की गेंदबाजी कर रहे थे.
कपिल देव ने खिलाड़ियों के ज्यादा चोटिल होने पर कहा कि एक व्यस्त कैलेडंर में खिलाड़ी साल में करीब 10 महीने क्रिकेट खेल रहे हैं. इसी वजह से खिलाड़ियों का चोटिल होना आम बात हो गई है. साल 2023 के वनडे वर्ल्ड कप में मोहम्मद शमी ने टीम इंडिया की तरफ से सबसे ज्यादा 24 विकेट चटकाए थे. इसके बाद वो लंबे समय तक चोट से जूझते रहे. चोट से रिकवर होने में उन्हें 14 महीने लग गए.
बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी मे नहीं खेल पाए बुमराह
शमी चोटिल होने की वजह से ऑस्ट्रेलिया में खेली गई बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में भी फिट न होने की वजह से नहीं खेल पाए. पिछले एक दशक में भारत पहली बार ये सीरीज हारी. कहीं न कहीं इसकी वजह शमी के बाहर होने को भी माना जा रहा है. बुमराह ने इस सीरीज में कातिलाना गेंदबाजी की थी लेकिन उन्हें पार्टनर के तौर पर किसी गेंदबाज से बहुत ज्यादा सपोर्ट नहीं मिला. इस कमी का फायदा कंगारु खिलाड़ियों ने उठाया.
कपिल देव बुमराह की कमी खलने पर क्या बोले?
कपिल देव से जब ये पूछा गया कि क्या चैंपियंस ट्रॉफी में टीम इंडिया को जसप्रीत बुमराह की कमी खलेगी और टीम इंडिया की संभावनाओं पर इसका असर पड़ेगा. इस सवाल पर पूर्व भारतीय ऑलराउंडर ने कहा कि खिलाड़ियों से चोटिल खिलाड़ियों पर निर्भर नहीं रहना चाहिए. इसके जगह उन्हें एक दूसरे का सहयोग करने पर फोकस रखने को कहा. जो खिलाड़ी टीम में नहीं है. उसके बारे में बात करने की जरूरत नहीं है. ये यह बैडमिंटन, टेनिस या गोल्फ नहीं है. ये पूरी टीम का खेल है और अगर टीम इंडिया टीम के तौर पर खेलेगी तो जरूर जीतेगी. कोई भी टीम कभी नहीं चाहती कि आपके मुख्य खिलाड़ी चोटिल हों लेकिन अगर ऐसा होता है तो कुछ कर नहीं सकते है.