अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मंगलवार को दोहराया कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान सहित कई देशों के बीच शांति समझौते में मध्यस्थता करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने उन्हें नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामित किया था. ट्रंप ने दावा किया कि उनके प्रशासन ने भारत और पाकिस्तान, सर्बिया और कोसोवो, रवांडा और कांगो सहित "बहुत सारे झगड़े" रोके.
ट्रंप ने कहा हमने भारत और पाकिस्तान और सर्बिया, कोसोवो, रवांडा और कांगो के साथ काम किया और यह सब पिछले तीन हफ़्तों में हुआ. हमने बहुत सारे झगड़े रोके. मुझे लगता है कि एक बहुत बड़ा, स्पष्ट रूप से एक बहुत बड़ा झगड़ा भारत और पाकिस्तान था और हमने व्यापार को लेकर इसे रोक दिया. हम भारत के साथ काम कर रहे हैं, हम पाकिस्तान के साथ काम कर रहे हैं और हमने कहा कि अगर आप लड़ने जा रहे हैं तो हम आपके साथ बिल्कुल भी काम नहीं करेंगे.
रूस-यूक्रेन संघर्ष लिए बाइडेन दोषी
ट्रंप ने रूस-यूक्रेन संघर्ष के लिए अपने पूर्ववर्ती जो बाइडेन को भी दोषी ठहराया और दावा किया कि अगर वे राष्ट्रपति होते तो कभी युद्ध शुरू नहीं होने देते. हम बाइडेन द्वारा बनाए गए राक्षस से निपटने की कोशिश कर रहे हैं. रूस और यूक्रेन के साथ जो कुछ भी हो रहा है, वह भयानक है, यह एक भयानक बात है. और मैं राष्ट्रपति पुतिन से बिल्कुल भी खुश नहीं हूं. लेकिन अगर मैं राष्ट्रपति होता तो यह कभी नहीं होता. यह एक ऐसा युद्ध है जो कभी नहीं होने वाला था. यह तब हुआ जब नेतन्याहू ने ट्रम्प को पुरस्कार समिति को भेजा गया एक पत्र प्रस्तुत किया, जिसमें अमेरिकी राष्ट्रपति को शांति पुरस्कार के लिए नामित किया गया था.
नेतन्याहू ने किया नॉमिनेट
नेतन्याहू ने दावा किया कि ट्रम्प ने "एक के बाद एक शांति स्थापित करने" में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. मैं आपको, राष्ट्रपति, नोबेल पुरस्कार समिति को भेजा गया पत्र प्रस्तुत करना चाहता हूं. नेतन्याहू ने कहा, यह आपको शांति पुरस्कार के लिए नामांकित करना है, जो पूरी तरह से योग्य है और आपको यह मिलना चाहिए. ट्रम्प ने व्हाइट हाउस में वार्ता के लिए उनकी मेजबानी की.