Israel-Gaza War: एक समाचार एजेंसी एपी के अनुसार, अधिकारियों और कार्यकर्ताओं ने पुष्टि की है कि इजरायली सेना ने बुधवार को गाजा की ओर मदद लेकर बढ़ रहे 19 जहाजों को रोक दिया. इन जहाज पर सवार लोगों में स्वीडिश जलवायु कार्यकर्ता ग्रेटा थुनबर्ग भी शामिल थीं. इजरायल के अधिकारियों ने बताया कि ग्रेटा थुनबर्ग हैं और उन्हें सुरक्षित इजरायली बंदरगाह पर पहुंचाया जा रहा है. 50 नावों और लगभग 500 कार्यकर्ताओं को लेकर जा रहा ग्लोबल सुमुद फ्लोटिला जहाज गाजाके लिए मानवीय सहायता लेकर गाजा की ओर बढ़ रहा था.
आयोजकों ने बताया कि सीरियस, अलमा और अदारा नामक नौकाओं को गाजा तट से लगभग 70 समुद्री मील (80 मील) दूर रोक दिया गया. इस बेड़े में नेल्सन मंडेला के पोते मंडला मंडेला, बार्सिलोना की पूर्व मेयर अदा कोलाऊ और कई यूरोपीय सांसद जैसी प्रमुख हस्तियां शामिल हैं. उन्होंने बताया कि तमाम रुकावटों के बावजूद शेष नौकाएं अपना मिशन जारी रखे हुए हैं.
पिछले 18 साल से चली आ रही नाकेबंदी को चुनौती
इजरायल ने पिछले 18 सालों से गाजा जाने वाले समुद्री मार्ग में नाकेबंदी कर रखी है, पिछले महीने बार्सिलोना से रवाना हुआ यह बेड़ा इस समुद्री नाकेबंदी को चुनौती देने का अब तक का सबसे बड़ा प्रयास है.
Video footage shows the Israeli navy using powerful flashlights and water cannons to intimidate activists aboard flotilla vessels pic.twitter.com/NvPQ3EuXoH
— Global Sumud Flotilla Commentary (@GlobalSumudF) October 2, 2025
नाव पर सवार लोगों पर इजरायली सेना द्वारा लगातार पानी की बौछारें की जा रही थीं लेकिन बावजूद इसके कार्यकर्ता अपनी यात्रा की ऑनलाइन स्ट्रीमिंग कर रहे थे और फिलिस्तीनीयों के साथ एकजुटता और आजाद फिलिस्तीन के नारे लगाए. हालांकि इजरायल द्वारा लगातार रुकावटों के बावजूद इस घटना में किसी के घायल होने की खबर नहीं है.
इसी बीच इजरायल के विदेश मंत्रालय ने जहाज के डेक पर बैठे हुए ग्रेटा थुनबर्ग को पानी की बोतल और रेनकोट देते हुए फुटेज शेयर किया था, जिसमें कहा गया कि ग्रेटा और उनके दोस्त सुरक्षित और स्वस्थ हैं.
Already several vessels of the Hamas-Sumud flotilla have been safely stopped and their passengers are being transferred to an Israeli port.
— Israel Foreign Ministry (@IsraelMFA) October 1, 2025
Greta and her friends are safe and healthy. pic.twitter.com/PA1ezier9s
वहीं इटली के विदेश मंत्री एंटोनियो तजानी ने पुष्टि की कि इस ऑपरेशन में 2-3 घंटों का समय लगेगा और फिर हिरासत में लिए गए सभी कार्यकर्ताओं को उनके जहाजों पर लादकर अशदोद बंदरगाह तक ले जाने के बाद निर्वासित कर दिया जाएगा.
तुर्की ने की निंदा
मानवीय सहायता लेकर गाजा जा रहे जहाजों को रोके जाने की तुर्की ने कड़ी निंदा की है और इसे अंतरराष्ट्रीय कानून का गंभीर उल्लंघन बताया और बंदियों की रिहाई सुनिश्चित करने के लिए पहल करने का वादा किया.
I condemn in the strongest terms Israel’s interception of the Global Sumud Flotilla. These vessels carried unarmed civilians and life-saving humanitarian supplies for Gaza, yet they were met with intimidation and coercion.
— Anwar Ibrahim (@anwaribrahim) October 1, 2025
By blocking a humanitarian mission, Israel has shown… pic.twitter.com/iOPiBTM4PA
यही नहीं कोलंबिया के राष्ट्रपति गुस्तावो पेट्रो ने इस मुद्दे पर इजरायल के राजनयिक प्रतिनिधिमंडल को निष्कासित करने और इजरायल के साथ मुक्त व्यापार समझौते को समाप्त करने की धमकी भी दी और इस नाकेबंदी को नरसंहार बताया.
वहीं स्पेन और इटली समेत यूरोपीय सरकारों ने पहले ही टकराव की स्थिति से बचने के लिए फ्लोटिला को वापस लौटाने की सलाह दी थी. इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी ने चेतावनी दी थी यह यात्रा अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की गाजा में शांति की योजना को खतरे में डाल सकती है.
इजरायल ने किया नाकेबंदी का बचाव
तमाम अंतरराष्ट्रीय विरोध के बावजूद इजरायल ने इस नाकेबंदी का समर्थन किया है. इजरायल ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र समुद्री कानून सम्मेलन के तहत राज्य आमतौर पर अपने तटों से केवल 12 समुद्री मील तक ही अधिकार क्षेत्र का प्रयोग करते हैं. हालांकि अंतरराष्ट्रीय कानून सशस्त्र संघर्ष में या नाकेबंदी लागू करने के लिए अवरोधन की अनुमति देता है लेकिन कार्यकर्ताओं का कहना है कि वे मानवीय सहायता लेकर जा रहे निहत्थे नागरिक हैं.
क्या है ग्लोबल सुमुद फ्लोटिला
ग्लोबल सुमुद फ्लोटिला (GSF) गाजा पर इजरायल की नाकाबंदी को तोड़ने के लिए आयोजित सबसे बड़ा नागरिक समुद्री मिशन है. 40 से ज्यादा देशों के जमीनी कार्यकर्ताओं, नाविकों, डॉक्टरों और कलाकारों द्वारा बने इस मिशन का उद्देश्य समुद्र के रास्ते मानवीय सहायता कॉरिडोर को खोलना है.