Nobel Peace Prize 2025: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने 2025 के नोबेल शांति पुरस्कार न मिलने पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि वेनेजुएला की विपक्षी नेता मारिया कोरिना मचाडो ने यह पुरस्कार उनके सम्मान में स्वीकार किया है. ट्रंप ने कहा कि मचाडो ने उन्हें फोन कर बताया कि वह यह पुरस्कार उनकी ओर से ले रही हैं क्योंकि असल में इसके हकदार ट्रंप ही हैं.
समाचार एजेंसी एएनआई के हवाले से ट्रंप ने कहा, 'उन्होंने मुझे फोन कर कहा कि यह पुरस्कार मैं आपके सम्मान में स्वीकार कर रही हूं क्योंकि आप इसके सच्चे हकदार हैं, यह बहुत अच्छा कदम है.' ट्रंप ने मजाकिया लहजे में कहा, 'मैंने यह नहीं कहा कि अब यह पुरस्कार मुझे दे दो.' उन्होंने कहा कि वह मचाडो की लंबे समय से मदद कर रहे हैं और वह खुश हैं क्योंकि उन्होंने लाखों लोगों की जान बचाई है. मचाडो ने भी अपने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा था कि यह पुरस्कार वह वेनेजुएला के पीड़ित नागरिकों और राष्ट्रपति ट्रंप को समर्पित करती हैं.
#WATCH अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने कहा, "जिस व्यक्ति को नोबेल पुरस्कार मिला है, उसने आज मुझे फ़ोन किया और कहा, 'मैं इसे आपके सम्मान में स्वीकार कर रहा हूं क्योंकि आप सचमुच इसके हकदार थे'... हालांकि, मैंने यह नहीं कहा, 'मुझे दे दो'। मुझे लगता है कि उन्होंने ऐसा किया… pic.twitter.com/XyldjywuFZ
— ANI_HindiNews (@AHindinews) October 10, 2025
व्हाइट हाउस ने इस फैसले पर नाराजगी जताई और कहा कि नोबेल समिति का निर्णय राजनीति से प्रभावित है. व्हाइट हाउस प्रवक्ता स्टीवन च्यांग ने कहा, 'राष्ट्रपति ट्रंप शांति समझौतों पर काम करते रहेंगे, युद्ध खत्म करेंगे और जीवन बचाएंगे. वह मानवता की सच्ची भावना रखते हैं.'
This recognition of the struggle of all Venezuelans is a boost to conclude our task: to conquer Freedom.
— María Corina Machado (@MariaCorinaYA) October 10, 2025
We are on the threshold of victory and today, more than ever, we count on President Trump, the people of the United States, the peoples of Latin America, and the democratic…
ट्रंप ने हमेशा दावा किया है कि उन्हें नोबेल शांति पुरस्कार मिलना चाहिए था क्योंकि उन्होंने दुनिया भर में संघर्ष खत्म करवाने की कोशिश की. उन्होंने दावा किया कि उन्होंने आठ शांति समझौते करवाए जिनमें इजरायल और गाजा, भारत और पाकिस्तान के बीच के समझौते भी शामिल हैं. ट्रंप ने कहा, 'भारत और पाकिस्तान के बीच झड़प में सात विमान गिराए गए थे, यह बहुत खराब स्थिति थी, लेकिन मैंने व्यापार वार्ता के जरिए इसे रोका.'
हालांकि भारत ने ट्रंप के इस दावे को खारिज करते हुए कहा था कि दोनों देशों के बीच कोई मध्यस्थता नहीं हुई थी. मचाडो को नोबेल शांति पुरस्कार वेनेजुएला में लोकतांत्रिक अधिकारों को बढ़ावा देने और तानाशाही से लोकतंत्र की ओर शांतिपूर्ण संक्रमण के लिए मिला. ट्रंप ने कहा कि उन्हें यह पुरस्कार चार या पांच बार मिलना चाहिए था क्योंकि उनका 'शांति रिकॉर्ड' बेजोड़ है.
उन्होंने कहा कि वह 'शांति के राष्ट्रपति' हैं और पूरी दुनिया जानती है कि उन्होंने कई बड़े संघर्षों को रोका है. यह पुरस्कार ट्रंप के लिए व्यक्तिगत झटका माना जा रहा है क्योंकि उन्होंने इस सम्मान के लिए काफी प्रचार किया था और पाकिस्तान सहित कुछ देशों ने उनके नामांकन का समर्थन किया था.