Omar Abdullah: जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने केंद्र सरकार के साथ अपने संबंधों पर बातचीत करते हुए कहा कि किसी भी संबंध की शुरुआत दुश्मनी से क्यों करनी. इंडिया टुडे के न्यूज डायरेक्टर राहुल कंवल के साथ एक साक्षात्कार में उमर अब्दुल्ला ने कहा कि उन्हें अपने दूसरे मुख्यमंत्री कार्यकाल में यह अनुभव हुआ कि केंद्र शासित प्रदेश का मुख्यमंत्री बनना आसान नहीं है, हालांकि कुछ चुनौतियां रही हैं, लेकिन वह मानते हैं कि जीवन चलता रहता है.
उन्हें पूछा गया था कि क्या वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार को नाराज करने से बचने के लिए सतर्क रहते हैं, इस पर उन्होंने कहा, "किसी को दुश्मनी से शुरुआत क्यों करनी है?" उनका कहना था कि राजनीति में रचनात्मक तरीके से रिश्ते बनाए रखने की जरूरत है.
उमर अब्दुल्ला ने यह भी बताया कि उनकी पार्टी नेशनल कॉन्फ्रेंस ने पिछले विधानसभा चुनाव में बड़ी जीत हासिल की थी और इसके बाद वह मुख्यमंत्री बने थे. अब तक वह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात कर चुके हैं और इस दौरान उन्होंने सकारात्मक बातचीत की है.
केंद्र से मिल रही पूरी मदद
उमर ने आगे कहा कि जब प्रधानमंत्री और गृह मंत्री से उनकी मुलाकात हुई, तो उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि जनादेश का सम्मान किया जाना चाहिए और केंद्र सरकार पूरी मदद करने को तैयार है. ऐसे में, अब्दुल्ला ने सवाल उठाया कि जब मनमुटाव की कोई गुंजाइश नहीं है, तो वह क्यों लड़ाई करें?
केंद्र के साथ अबुल्ला का कैसा संबंध?
जब उनसे बीजेपी के साथ उनके रिश्तों पर पूछा गया, तो उमर ने कहा कि केंद्र सरकार से काम करना इसका मतलब नहीं है कि वह बीजेपी के साथ हैं. उनका स्पष्ट कहना था कि उनकी पार्टी जम्मू-कश्मीर के मुद्दों पर बीजेपी से सहमत नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि यदि किसी का तरीका उनके तरीके से बेहतर काम करता है, तो वह खुले दिल से स्वीकार करेंगे कि वह गलत थे और दूसरों के सही तरीके को अपनाएंगे. उमर अब्दुल्ला ने यह भी कहा कि उनकी पार्टी केंद्र के प्रति नरम नहीं है, और यह महत्वपूर्ण है कि हर मुद्दे पर स्पष्टता से बात की जाए.