नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने 18 से 22 सितंबर के बीच संसद का विशेष सत्र बुलाया है. जिसको लेकर सियासत तेज हो गयी है. कांग्रेस नेता अधीर रंजन सरकार के इस फैसले को लेकर कड़ा ऐतराज जताया है. अधीर रंजन चौधरी ने बड़ी प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए कहा कि "हमें अभी तक संसद के विशेष सत्र से जुड़ी हुई कोई सूचना नहीं दी गई है. केंद्र सरकार मनमर्जी से संसद चला रही हैं. ऐसी क्या इमरजेंसी है कि संसद का विशेष सत्र आहूत करना पड़ा क्योंकि शीतकालीन सत्र तो होना ही है''
दरअसल केंद्रीय संसदीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने ट्वीट के जरिये जानकारी साझा करते हुए कहा है कि "संसद का विशेष सत्र 18 से 22 सितंबर को बुलाया गया है. इसमें पांच बैठकें होंगी. अमृत काल के बीच आयोजित होने वाले इस विशेष सत्र के दौरान संसद में सार्थक चर्चा को लेकर वो आशान्वित हैं"
संसद के इस विशेष सत्र के एजेंडे के बारे में आधिकारिक तौर पर कुछ भी नहीं कहा गया है. लेकिन ऐसी उम्मीद जताई जा रही कि केंद्र सरकार 10 से ज्यादा महत्वपूर्ण लंबित बिल को इस विशेष सत्र में पेश कर सकती है. दरअसल यह बैठक इसलिए भी अहम मानी जा रही है कि क्योंकि राष्ट्रीय राजधनी दिल्ली में 9 और 10 सितंबर को जी20 शिखर बैठक होनी है. उसके कुछ दिन बाद संसद का विशेष सत्र बुलाने को लेकर तरह-तरह की चर्चाएं शुरू हो गयी है.
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