Rajya Sabha Election 2024: नामांकन की आखिरी तारीख नजदीक आने के साथ ही राज्यसभा चुनाव की सरगर्मी के तेज हो गई है. राजस्थान की तीन राज्यसभा सीटों के लिए 27 फरवरी को चुनाव होना है. नामांकन की आखिरी तारीख 15 फरवरी है. इसी बीच भाजपा ने अपने दो उम्मीदवार घोषित कर दिए हैं, लेकिन कांग्रेस ने अभी तक अपने पत्ते नहीं खोले हैं. भाजपा ने आदिवासी वोटरों को साधने के लिए चुन्नीलाल गरासिया और मारवाड़ के ओबीसी वोटरों को साधने के लिए पूर्व विधायक मदन राठौड़ को प्रत्याशी बनाया है.
राजस्थान में कांग्रेस अभी भी असमंजस की स्थिति में है, क्योंकि एक सीट के लिए कई दावेदार हैं. इसमें सोनिया गांधी, अजय माकन, अभिषेक मनु सिंघवी और भंवर जितेंद्र सिंह के अलावा कई स्थानीय नेता दावेदार हैं. इनमें सबसे प्रबल संभावना सोनिया गांधी की है. बताया जा रहा है कि सोनिया गांधी को राजस्थान से राज्यसभा प्रत्याशी बनाने के लिए प्रदेश कांग्रेस ने आलाकमान को पत्र भी लिखा है. नेता प्रतिपक्ष टीका राम जूली ने भी कांग्रेस अध्यक्ष से सोनिया गांधी को राजस्थान से राज्यसभा प्रत्याशी बनाने की मांग की है.
भाजपा ने राज्यसभा के लिए चुन्नीलाल गरासिया को उम्मीदवार बनाकर आदिवासी वोट बैंक पर दांव खेला है. गरासिया के राजनीतिक करियर की बात करें, तो वे राजस्थान सरकार में मंत्री के अलावा संगठन में भी कई पदों पर रहे हैं. गरासिया भाजपा एसटी मोर्चे के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष रहे हैं और वर्तमान में प्रदेश उपाध्यक्ष हैं. चुन्नी लाल गरासिया भैरो सिंह शेखावत सरकार में मंत्री रहे थे, लेकिन सबसे बड़ी बात ये है कि चुन्नीलाल मंत्री पद से इस्तीफा देकर कार सेवा में गए थे. मुरली मनोहर जोशी के नेतृत्व में कश्मीर के लाल चौक जाने वाली एकता यात्रा में शामिल रहे थे. उस वक्त नरेंद्र मोदी एकता यात्रा के संयोजक थे.
दूसरे प्रत्याशी मदन राठौड़ ओबीसी खेमे से आते हैं. मारवाड़ की तीन लोकसभा सीटों के मद्देनजर मदन राठौड़ का चयन पार्टी के लिए काफी महत्त्वपूर्ण माना जा रहा है. राठौड़ के पार्टी के प्रति समर्पण को देखते हुए उनको राज्यसभा सदस्य के रूप में इनाम माना जा रहा है. मदन राठौड़ पिछली वसुंधरा सरकार में उप मुख्य सचेतक थे. मदन राठौड़ साल 2013 और 18 तक सुमेरपुर से विधायक रहे हैं. साल 2023 में पार्टी से टिकट नहीं मिला तो सुमेरपुर विधानसभा क्षेत्र से निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे थे. पीएम मोदी के कहने और पार्टी की ओर से मान-मनुहार के बाद नामांकन वापस लिया था.
राजस्थान में मौजूदा समय में तीन सीटों पर पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव सांसद हैं. तीसरी सीट किरोड़ी लाल मीणा की थी, जो हाल ही विधानसभा चुनाव में विधायक बने हैं. उन्होंने राज्यसभा सीट से इस्तीफा दिया था. राजस्थान से राज्यसभा की कुल 10 सीटें हैं, जिनमें से चार सीटों पर भाजपा और 6 सीटों पर कांग्रेस का कब्जा है. राजस्थान में मौजूदा संख्या बल के हिसाब से तीन में से दो सीटें भाजपा के खाते में जाएंगी और एक सीट कांग्रेस के खाते में जाएगी. इस चुनाव के बाद भी राज्यसभा के लिए दोनों ही पर्टियों की संख्या बल में कोई बदलाव नहीं होगा. इसके बाद राज्यसभा की अन्य सीटों के लिए 2026 और 2028 में चुनाव होंगे.
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