Lok Sabha Elections 2024 : राजनीति में कोई किसी का परमानेंट दोस्त और दुश्मन नहीं होता. यह बात आपने कई बार सुनी होगी. मध्यप्रदेश में आज कुछ इसी तरह का नजारा देखने के लिए मिला है. लोकसभा चुनाव से पहले मध्यप्रदेश के कांग्रेस के बड़े नेता भोपाल से पूर्व सांसद सुरेश पचौरी के साथ इंदौर के संजय शुक्ला और विशाल पटेल ने कई नेताओं के साथ बीजेपी का दामन थाम लिया. इन सभी नामों में एक नाम है कांग्रेस नेता और पूर्व कांग्रेस विधायक संजय शुक्ला का है, जिनको लेकर चर्चाएं हो रही हैं.
इंदौर के संजय शुक्ला कैलाश विजयवर्गी के धुर विरोधी नेता के रूप में जाने जाते थे. वो कैलाश विजयवर्गीय के खिलाफ आए दिन विवादित बयाने देते रहते थे. संजय शुक्ला ने विजयवर्गीय को गुंडा बताया था. गंदी-गंदी गालियां दी थीं, भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे, लड़की छेड़ने वाला मवाली तक डाला था. आज वही संजय शुक्ला बीजेपी में शामिल हो गए हैं. इतना ही नहीं बीजेपी में शामिल होते वक्त कैलाश विजयवर्गीय के सामने वो नतमस्तक हो गए और पैर छूकर आशीर्तवाद लिया. मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष वी डी शर्मा और पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इन्हें पार्टी की सदस्यता दिलाई.
मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में इंदौर विधानसभा क्रमांक -1 में कांग्रेस से संजय शुक्ला और बीजेपी के कैलाश विजयवर्गीय के सामने प्रत्याशी थे. दोनों नेता एक-दूसरे के खिलाफ जमकर बयानबाजी करते दिखे थे. हालांकि विधानसभा चुनाव में कैलाश विजयवर्गीय चुनाव जीत गए थे और संजय शुक्ला को हार का सामना करना पड़ा था.
संजय शुक्ला कांग्रेस के धनी नेताओं में शामिल थे. संजय शुक्ला के पिता विष्णु प्रसाद शुक्ला की गिनती इंदौर में के वरिष्ठ भाजपा नेताओं और संगठन को मजबूत बनाने वालों में होती है. 90 के दशक में संजय शुक्ला ने कांग्रेस पार्टी ज्वाइन करने का फैसला लिया था. तब प्रदेश में दिग्विजय सिंह सरकार थी. वे पहली बार सुदामा नगर वार्ड से कांग्रेस के पार्षद बने थे.