बाल केशव ठाकरे जिन्हें बाल ठाकरे भी कहते हैं. बाल ठाकरे एक ऐसा नेता रहे जो हमेशा विवादों में रहे. चाहे कट्टर हिंदू की छवि हो या फिर मराठियों के हक की लड़ाई, बाल ठाकरे हर बार फ्रंट से खेलते दिखे. बाल ठाकरे ऐसे नेता भी रहे जिसने खुद कभी कोई चुनाव नही लड़ा और न ही कोई राजनीतिक पद लिया. इसके बावजूद उन्होंने महाराष्ट्र की सियासत में एक अहम भूमिका निभाई. राजनीति में दबंद छवि रखने वाले बाल ठाकरे की एक बार खूब मशहूर हुई. वह कहते थे कि 'कमलाबाई' जो कहेगी, मैं वही करूंगा. क्या आप जानते हैं कि यह कमलाबाई कौन थी और इसके पीछे की कहानी क्या है?
अपनी बात बेबाकी से रखने वाले बाल ठाकरे हमेशा अपने बयानों की वजह से चर्चा में रहते थे. उनके नेतृत्व वाली शिवसेना पार्टी की 90 के दशक में पूरे देश में पहचान थी. उस समय मुंबई में शिवसेना सबसे मजबूत पार्टी मानी जाती थी. आज की भारतीय जनता पार्टी को 90 के दशक में शिवसेना का छोटा भाई कहा जाता था. बाल ठाकरे के बारे में उनके विरोधी और एनसीपी नेता शरद पवार की जीवनी से समझा जा सकता है.
शरद पवार अपनी आत्मकथा 'ऑन माई टर्म्स' में बताते हैं कि बाला साहब ठाकरे का एक उसूल था, अगर एक बार आप उनके दोस्त बन गए तो वह उसे जीवनभर निभाते थे. आगे शरद पवार लिखते हैं कि दिन में बाला साहब उन्हें आटे की बोरी कहकर उनका मज़ाक उड़ाते तो शाम को उन्हें, उनकी पत्नी और बेटी सुप्रिया को अपने घर पर खाने पर बुलाते. शरद पवार कहते हैं,
'बाल ठाकरे निजी तौर पर तो मेरे सबसे बड़े दोस्त थे लेकिन राजनीतिक तौर पर मेरे सबसे बड़े दुश्मन थे.'
शरद पवार अपनी किताब में आगे लिखते हैं, 'सितंबर 2006 में जब मेरी बेटी सुप्रिया ने राज्यसभा का चुनाव लड़ने की घोषणा कि और इसकी खबर जब बाला साहब को मिली तो उन्होंने मुझे फोन किया. वह बोले शरद पवार यह मैं क्या सुन रहा हूं, हमारी बेटी सुप्रिया चुनाव लड़ रही है. तुमने मुझे इस बारे मे कुछ बताया नहीं. मुझे इसकी खबर कहीं और से मिल रही है. मैनें कहा- बीजेपी और शिवसेना ने पहले ही सुप्रिया के खिलाफ गठबंधन करके अपने कैंडिडेट के नाम की घोषणा कर दी है. मैं इसकी जानकारी देकर आपको परेशान नहीं करना चाहता था.'
इस पर बाला साहब ने कहा, 'मैं उसे तब से जानता हूं जब वह मेरे घुटनों के बराबर हुआ करती थी, मेरे गठबंधन का कोई भी उम्मीदवार सुप्रिया के खिलाफ चुनाव नहीं लड़ेगा. तुम्हारी बेटी मेरी बेटी है.' इस पर शरद पवार ने बाल ठाकरे से पूछा, 'आप बीजेपी को क्या कहेंगे? जिसके साथ आप की पार्टी का गठबंधन है?' इसके जवाब में वह बोले, 'तुम कमलाबाई की चिंता मत करो. वो वही करेगी जो मैं उससे कहूंगा.'
दरअसल, बाला ठाकरे उस समय बीजेपी को कमलाबाई कहते थे. आज भले ही बीजेपी इतनी मजबूत पार्टी बन गई है लेकिन एक समय ऐसा भी था जब बीजेपी ठाकरे के नेतृ्त्व वाली शिवसेना के इशारों पर चलती थी.