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आखिर किस बात का था डर? 20 साल से लड़की को अंधेरे कमरे में रखा बंद, बस्तर की बेटी की दर्दनाक कहानी आई सामने

बस्तर में एक लड़की को पालन पोषण करने वाले परिवार ने सुरक्षा के डर से 20 साल तक कमरे में बंद रखा. अब अधिकारी इसे मानवाधिकार उल्लंघन और अवैध हिरासत मानकर जांच कर रहे हैं.

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Edited By: Km Jaya
Girl Locked in Room India daily
Courtesy: Pinterest

बस्तर: छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां एक लड़की को बीस वर्षों तक एक बंद कमरे में रखा गया. अधिकारियों ने हाल ही में लगभग 28 वर्ष की इस युवती को रेस्क्यू किया है. जब उसे कमरे में बंद किया गया था तब वह केवल 8 वर्ष की थी. सामाजिक कल्याण विभाग और जिला प्रशासन अब इस मामले को अवैध हिरासत, संभावित आपराधिक लापरवाही और मानवाधिकार उल्लंघन की गंभीर श्रेणी में जांच रहा है.

जानकारी के अनुसार, लड़की बचपन में ही अपने माता–पिता को खो चुकी थी और उसका पालन पोषण करने वाला एक परिवार उसे अपने साथ रख रहा था. उसी परिवार ने उसे बीस वर्षों तक कमरे में कैद रखा. परिवार का दावा है कि यह कदम उन्होंने सुरक्षा कारणों से उठाया था. उन्होंने कहा कि पड़ोस में रहने वाला एक व्यक्ति अक्सर लड़की का पीछा करता था और यौन उत्पीड़न का खतरा बना हुआ था. 

क्या थी लड़की को कैद करने की वजह?

परिवार का कहना है कि वह आदमी आदतन अपराधी था और उन्हें डर था कि यदि लड़की बाहर निकलेगी तो वह उसका नुकसान कर सकता है. इस डर ने उन्हें कई वर्षों तक उसे कमरे से बाहर न निकालने के लिए मजबूर कर दिया. हालांकि इस परिवार की मंशा चाहे जो भी रही हो, युवती की हालत देखकर अधिकारियों ने इसे गंभीर मानवाधिकार हनन माना है. 

क्या लड़की का स्थिति?

दो दशकों तक सामाजिक संपर्क से दूर रहने और धूप न मिलने के कारण लड़की मानसिक और शारीरिक रूप से गंभीर आघात में है. उसकी आंखों की रोशनी काफी हद तक जा चुकी है और डॉक्टरों का कहना है कि उसका दृष्टि पूरी तरह लौटना मुश्किल है. कई बार बुलाने पर भी वह मुश्किल से प्रतिक्रिया देती है और अपना नाम तक भूल चुकी है.

बस्तर कलेक्टर ने क्या बताया?

बस्तर कलेक्टर हरीश एस ने बताया कि लड़की की सेहत तेजी से सुधार की कोशिशों में है. मेडिकल टीम और सामाजिक कार्यकर्ता लगातार उसके साथ काम कर रहे हैं. सिस्टर क्लेयरलिट ने कहा कि अच्छी खबर यह है कि युवती अब धीरे–धीरे प्रतिक्रिया देना सीख रही है और सहारे के साथ चलने लगी है.

अधिकारियों के अनुसार, आगे की जांच में यह देखा जाएगा कि परिवार ने उसे इतने वर्षों तक अंदर रखने के लिए क्या परिस्थितियां बताई हैं और क्या यह कानूनी रूप से उचित ठहराया जा सकता है.