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India Daily

धरती पर तबाही मचाने लौटेंगे डायनासोर, इंसान की ये गलती उनके लिए बनेगी 'मौत', वैज्ञानिकों ने किया सनसनीखेज खुलासा!

Dinosaurs could return to Earth: डॉ. जेम्स रे ने कहा, "CO2 उत्सर्जन ने पूरी पृथ्वी में तापमान को बढ़ाया और समुद्र के स्तर को ऊंचा किया. अगर इसे नियंत्रित नहीं किया गया तो यह भविष्य में भी ऐसा ही हो सकता है."

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Edited By: Gyanendra Tiwari
Dinosaurs could return to Earth because of Volcanoes erupted millions year ago says experts
Courtesy: Social Media

Dinosaurs could return to Earth: वैज्ञानिकों ने एक नई चेतावनी दी है कि बढ़ती हुई कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) की मात्रा और ज्वालामुखी विस्फोटों के कारण पृथ्वी पर डायनासोर फिर से आ सकते हैं. उनका मानना है कि 294 मिलियन वर्ष पहले हुए ज्वालामुखी विस्फोटों ने CO2 की इतनी अधिक मात्रा को वायुमंडल में छोड़ दिया था कि इसका प्रभाव पृथ्वी की जलवायु पर पड़ा और यह जीवों के विकास में एक महत्वपूर्ण मोड़ साबित हुआ. विशेषज्ञों के अनुसार, आजकल मनुष्य द्वारा उत्पन्न किए जा रहे CO2 के उत्सर्जन की वजह से धरती में बड़े बदलाव हो सकते हैं, जो डायनासोरों की वापसी का कारण बन सकते हैं.

स्टैंडफोर्ड विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों ने हाल ही में एक अध्ययन में बताया कि कैसे CO2 के बढ़ते स्तरों ने प्राचीन पृथ्वी की जलवायु को प्रभावित किया. डॉ. हाना जुरिकोवा, जो इस अध्ययन से जुड़ी हैं, ने कहा, "लेट पेलियोजोइक आइस एज के अंत ने जीवन और पर्यावरण के विकास में महत्वपूर्ण बदलाव किए थे, और अब हमें यह पता चल चुका है कि इसके पीछे CO2 का हाथ था."

 CO2 बनेगा डायनासोर के लौटने का कारण

294 मिलियन साल पहले, विशाल ज्वालामुखी विस्फोटों के कारण वातावरण में बहुत अधिक CO2 उत्सर्जित हुआ था, जिससे पृथ्वी का तापमान बढ़ा और बर्फीली चादरें पिघलने लगीं. इस बदलाव ने जीवन के विकास के लिए अनुकूल परिस्थितियाँ उत्पन्न कीं, जिससे विशाल सरीसृपों (डायनासोर) का उदय हुआ.

स्टैंडफोर्ड विश्वविद्यालय और अन्य संस्थाओं के विशेषज्ञों ने इस अध्ययन में पाया कि प्राचीन ब्राचीपोड शेल्स (प्राचीन शंख जैसे जीवों के अवशेष) की रासायनिक संरचनाओं का अध्ययन करने से यह स्पष्ट हुआ कि CO2 स्तरों ने पृथ्वी के गर्म होने और ठंडे होने में एक केंद्रीय भूमिका निभाई. इस अध्ययन से यह सिद्ध हुआ कि वायुमंडल में CO2 की अत्यधिक मात्रा पृथ्वी के जलवायु परिवर्तन में महत्वपूर्ण कारण बन सकती है.

कैसे लुप्त हुए थे डायनासोरों और कैसे हो सकती है वापसी

डायनासोर पृथ्वी पर 165 मिलियन वर्षों तक शासन करते रहे, लेकिन लगभग 66 मिलियन साल पहले वे एक अप्रत्याशित और विनाशकारी घटना के कारण समाप्त हो गए. यह घटना शायद एक विशाल उल्कापिंड के पृथ्वी से टकराने या फिर ज्वालामुखी विस्फोटों का परिणाम हो सकती है, जिससे पर्यावरण में अचानक बदलाव हुए और डायनासोरों के अस्तित्व के लिए अनुकूल परिस्थितियाँ समाप्त हो गईं.

बदल रही है पृथ्वी की जलवायु

वर्तमान में, मानव द्वारा उत्सर्जित CO2 के कारण पृथ्वी की जलवायु में बदलाव हो रहा है, जो भविष्य में डायनासोरों जैसे विशाल जीवों के लिए अनुकूल हो सकता है. अगर CO2 के स्तर इसी तरह बढ़ते रहे, तो यह नई प्रजातियों के उदय का कारण बन सकता है, जैसा कि 294 मिलियन साल पहले हुआ था.

इस अध्ययन के परिणामस्वरूप विशेषज्ञों का मानना है कि यदि आज के समय में CO2 उत्सर्जन पर नियंत्रण नहीं पाया गया, तो पृथ्वी के पर्यावरण में उतने ही बड़े बदलाव हो सकते हैं जितने प्राचीन समय में हुए थे, और जिनके परिणामस्वरूप पृथ्वी पर नए विशाल जीवों का उदय हो सकता है.

यह शोध वैज्ञानिकों को यह समझने में मदद करेगा कि कैसे जलवायु परिवर्तन पृथ्वी पर जीवन के विकास को प्रभावित कर सकता है और इसके साथ ही यह हमें हमारे पर्यावरण पर असर डालने वाली गतिविधियों के प्रति अधिक सचेत होने का संकेत देता है.