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India Daily

इटली में भड़की हिंसा, विरोध प्रदर्शन में 60 पुलिसकर्मी घायल; मेलोनी ने बताया शर्मनाक

Italy Protests: रोम समेत इटली के कई शहरों में हजारों फिलिस्तीनी समर्थक प्रदर्शनकारियों ने गाजा में चल रही इजराइली सैन्य कार्रवाई के खिलाफ प्रदर्शन किया. 

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Edited By: Shilpa Srivastava
Italy Protests
Courtesy: @mog_russEN (X)

Italy Protests: रोम समेत इटली के कई शहरों में हजारों फिलिस्तीनी समर्थक प्रदर्शनकारियों ने गाजा में चल रही इजराइली सैन्य कार्रवाई के खिलाफ प्रदर्शन किया. ये विरोध प्रदर्शन फिलिस्तीनियों के साथ एकजुटता दिखाने के लिए और गाजा में हो रहे सामूहिक नरसंहारों का विरोध करने के लिए किया गया है. यह ट्रेड यूनियनों द्वारा आयोजित किया गया था. ये लेट्स ब्लॉक एवरीथिंग नाम की एक राष्ट्रव्यापी हड़ताल का हिस्सा था.

पुलिस ने सेंट्रल रेलवे स्टेशन पर प्रदर्शनकारियों की भीड़ हटाने की कोशिश की, जिसके लिए उन्होंने आंसू गैस का भी इस्तेमाल किया. ये प्रदर्शनकारी काले कपड़े पहने हुए थे और फिलिस्तीनी झंडा लहरा रहे थे. 

मजदूर भी विरोध प्रदर्शन में हुए शामिल:

प्रदर्शनकारियों के एक ग्रुप ने खिड़कियों को तोड़कर और पुलिस पर कुर्सी फेंकीं. इस दौरान 60 से ज्यादा पुलिसकर्मी घायल हो गए और 10 से ज्यादा लोग गिरफ्तार हो गए. मजदूरों ने भी फिलिस्तीनियों के साथ एकजुटता दिखाई. उन्होंने बंदरगाहों को ब्लॉक किया और विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए. 

जियोर्जिया मेलोनी ने बताया प्रदर्शन को शर्मनाक: 

बता दें कि प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी गाजा पर अपने रुख के लिए आलोचना झेल रही हैं. उन्होंने हिंसा की निंदा करते हुए इस शर्मनाक बताया है. इटली ने इस महीने की शुरुआत में संयुक्त राष्ट्र में फिलिस्तीनी राज्य के पक्ष में वोट किया था. लेकिन मेलोनी ने इस समय फिलिस्तीनी राज्य को औपचारिक रूप से मान्यता देने से परहेज किया है.

बता दें कि वेनिस में, पुलिस ने बंदरगाह पर विरोध प्रदर्शनों को रोकने के लिए पानी का इस्तेमाल किया. जेनोआ, लिवोर्नो और ट्राइस्टे के बंदरगाहों पर काम करने वालों ने भी विरोध प्रदर्शन किया. इसके अलावा बोलोग्ना में, प्रदर्शनकारियों ने एक नेशनल हाइवे को ब्लॉक कर दिया और पुलिस के साथ झड़प भी की. 

रोम में, हजारों लोग एक रेलवे स्टेशन के बाहर इकट्ठा हुए और बाद में एक मार्च निकाला, जिससे रिंग रोड ब्लॉक हो गया. इन सभी के हाथ में फिलिस्तीन को आजाद करो और आइए सब कुछ बंद कर दें लिखे हुए पोस्टर थे. नेपल्स में, विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गया क्योंकि भीड़ रेलवे स्टेशन में जबरन घुस गई, जिससे ट्रेन सर्विसेज प्रभावित हुईं.

इमैनुएल मैक्रों ने फिलिस्तीन को दी मान्यता:

ये विरोध प्रदर्शन उसी समय हुए जब ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, पुर्तगाल और फ्रांस समेत कई देशों ने घोषणा की कि वो संयुक्त राष्ट्र में फिलिस्तीन को एक राज्य के रूप में मान्यता देंगे. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने सोमवार को फिलिस्तीन को औपचारिक रूप से मान्यता दी. साथ ही इस फैसले को शांति के लिए जरूरी बताया. इस कदम की इजराइल ने आलोचना की और इसे हमास के लिए एक इनाम बताया.