जम्मू-कश्मीर में हाल के दिनों में आतंकी हमले बढ़े हैं. कश्मीर के भीतर आतंकियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच मुठभेड़ की कई घटनाएं सामने आई है. खुफिया रिपोर्टों से संकेत मिलता है कि अफगानिस्तान में अमेरिका द्वारा छोड़े गए हथियार पाकिस्तान के रास्ते जम्मू-कश्मीर में पहुंच रहे हैं. खुफिया अधिकारियों ने बताया कि दूरबीन से लैस एम-4 अमेरिकी कार्बाइन, चीनी स्टील कोर बुलेट और सटीक फायरिंग से पता चलता है कि क्षेत्र में हाल के हमलों में शामिल आतंकवादी पाकिस्तानी सेना के विशेष सेवा समूह (एसएसजी) के सेवानिवृत्त नियमित सैनिक या गुरिल्ला युद्ध में प्रशिक्षित आतंकवादी हो सकते हैं.
एम4 कार्बाइन और चीनी स्टील कोर बुलेट का पहली बार इस्तेमाल पाकिस्तानी आतंकवादियों ने 20 अप्रैल 2023 को पुंछ के तोता गली इलाके में सेना के ट्रक पर घात लगाकर किए गए हमले के दौरान किया था, जिसमें पांच जवान शहीद हो गए थे. खुफिया अधिकारी ने कहा कि हम निश्चित रूप से यह पुष्टि नहीं कर सकते कि आतंकवादियों में कुछ पूर्व पाकिस्तानी सेना के नियमित सैनिक भी हैं, लेकिन जम्मू में हाल के हमलों में आतंकवादियों द्वारा अपनाई गई गुरिल्ला युद्ध रणनीति से स्पष्ट संकेत मिलता है कि वे आम आतंकी नहीं हैं.
पूर्व पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) डॉ. एसपी वैद ने कहा, जम्मू क्षेत्र में विकसित हो रहे मौजूदा हालात गंभीर चिंता का विषय हैं. तत्काल कार्रवाई समय की मांग है. कथित तौर पर पाकिस्तान सेना के कुछ नियमित लोग जम्मू क्षेत्र के कुछ स्थानीय आतंकवादियों के साथ मिलकर इन आतंकवादी समूहों का मार्गदर्शन कर रहे हैं, जो पहले सीमा पार करके पाकिस्तान में बस गए थे. ऐसी खुफिया रिपोर्टें मिली हैं, जिनसे संकेत मिलता है कि अफगानिस्तान में अमेरिका द्वारा छोड़े गए हथियार अब पाकिस्तान के रास्ते जम्मू-कश्मीर में पहुंच रहे हैं.
जम्मू और कश्मीर के पीर पंजाल और राजौरी-पुंछ सेक्टर में पिछले कुछ दिनों में आतंकवादी गतिविधियां बढ़ी हैं. सेना ने इस क्षेत्र में और अधिक सैनिक भेजे हैं, अपनी इकाइयों का पुनर्गठन किया है, तथा आतंकवाद-रोधी अभियानों के लिए खुफिया नेटवर्क को मजबूत किया है. सुरक्षा बलों ने भी अपनी प्रतिक्रियाओं में बदलाव किया है क्योंकि जम्मू, राजौरी, पुंछ, रियासी और कठुआ जिले पाकिस्तान स्थित आतंकवादी समूहों के मेन टारगेट बन गए हैं.
पिछले साल कश्मीर घाटी में आतंकवाद विरोधी अभियानों में सात सैनिक शहीद हुए थे, जबकि राजौरी-पुंछ सेक्टर में 20 सैनिक शहीद हुए थे. 2023 में जम्मू-कश्मीर में कुल 71 आतंकवादी मारे गए, जिनमें कश्मीर घाटी में 51 और राजौरी-पुंछ क्षेत्र में 20 आतंकवादी शामिल हैं. 9 जून को रियासी में आतंकवादियों ने तीर्थयात्रियों की बस पर हमला किया जिसमें नौ लोग मारे गए और 42 अन्य घायल हो गए. 26 जून को डोडा जिले के गंडोह इलाके में आतंकवादियों और सुरक्षा बलों के बीच गोलीबारी के बाद तीन आतंकवादी मारे गए.