Jharkhand News: झारखंड के जल संसाधन मंत्री और पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन रविवार को दिल्ली पहुंचे. कहा जा रहा है कि चंपई कुछ ही देर में बीजेपी में शामिल हो सकते हैं. यह पूछे जाने पर कि क्या वह बीजेपी में शामिल होने जा रहे हैं. इस सवाल पर चंपई ने कहा, 'मैं जहां हूं वहीं हूं. मैं निजी यात्रा से दिल्ली आया हूं...यहां मेरी बेटी है..मैं उससे मिलने आया हूं. मीडिया में जो खबरें चल रही हैं मुझे उनके बारे में कुछ नहीं पता है...मैं अभी कुछ भी नहीं कह सकता. मैं बाद में बताऊंगा.' इसी बीच चंपई सोरेन के घर से और सरायकेला-खरसावां जिले के जिलिजगोरा गांव से जेएमएम का झंडा भी हटा दिया गया है.
ट्वीट के जरिए बयां किया अपना दर्द
हालांकि अभी तक चंपई ने पार्टी से इस्तीफा नहीं दिया है लेकिन एक लंबा चौड़ा ट्वीट कर जाहिर कर दिया है कि अब केवल औपचारिकताएं ही बची हैं. चंपई सोरेन ने ट्वीट कर कहा अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा, 'आज समाचार देखने के बाद, आप सभी के मन में कई सवाल उमड़ रहे होंगे. आखिर ऐसा क्या हुआ, जिसने कोल्हान के एक छोटे से गांव में रहने वाले एक गरीब किसान के बेटे को इस मोड़ पर लाकर खड़ा कर दिया. 31 जनवरी को, एक अभूतपूर्व घटनाक्रम के बाद, इंडिया गठबंधन ने मुझे झारखंड के 12वें मुख्यमंत्री के तौर पर राज्य की सेवा करने के लिए चुना...' चंपई सोरेन के ट्वीट से साफ है कि उनके दिल में उन्हें सीएम पद से हटाए जाने की टीस है.
जोहार साथियों,
आज समाचार देखने के बाद, आप सभी के मन में कई सवाल उमड़ रहे होंगे। आखिर ऐसा क्या हुआ, जिसने कोल्हान के एक छोटे से गांव में रहने वाले एक गरीब किसान के बेटे को इस मोड़ पर लाकर खड़ा कर दिया।
अपने सार्वजनिक जीवन की शुरुआत में औद्योगिक घरानों के खिलाफ मजदूरों की आवाज…
— Champai Soren (@ChampaiSoren) August 18, 2024
आत्म सम्मान को लगी चोट को कैसे दिखाता
चंपनी ने आगे कहा, '...झारखंड का बच्चा- बच्चा जनता है कि अपने कार्यकाल के दौरान, मैंने कभी भी, किसी के साथ ना गलत किया, ना होने दिया.. इसी बीच, हूल दिवस के अगले दिन, मुझे पता चला कि अगले दो दिनों के मेरे सभी कार्यक्रमों को पार्टी नेतृत्व द्वारा स्थगित करवा दिया गया है. क्या लोकतंत्र में इस से अपमानजनक कुछ हो सकता है कि एक मुख्यमंत्री के कार्यक्रमों को कोई अन्य व्यक्ति रद्द करवा दे? इतने अपमान एवं तिरस्कार के बाद मैं वैकल्पिक राह तलाशने हेतु मजबूर हो गया.'
आज से जीवन का नया अध्याय शुरू
चंपई सोरेन ने कहा, 'आज से मेरे जीवन का नया अध्याय शुरू होने जा रहा है. इसमें मेरे पास तीन विकल्प थे. पहला, राजनीति से सन्यास लेना, दूसरा, अपना अलग संगठन खड़ा करना और तीसरा, इस राह में अगर कोई साथी मिले, तो उसके साथ आगे का सफर तय करना. उस दिन से लेकर आज तक, तथा आगामी झारखंड विधानसभा चुनावों तक, इस सफर में मेरे लिए सभी विकल्प खुले हुए हैं.'
कहां से शुरू हुई बगावत की कहानी
गौरतलब है कि जमीन घोटाला मामले गिरफ्तार किए जाने के बाद सीएम हेमंत सोरेन ने इस्तीफा दे दिया था और इसके बाद चंपई सोरेन को मुख्यमंत्री बनाया गया था लेकिन जब हेमंत सोरेन जेल से बाहर आए तो चंपई सोरेन से सीएम की कुर्सी छीन ली गई और हेमंत दोबारा से मुख्यमंत्री बन गए. ऐसा कहा जा रहा था चंपई सोरेन विधानसभा चुनाव तक मुख्यमंत्री बने रहना चाहते थे.