Beef Controversy Row: लोकसभा चुनाव के मद्देनजर जारी प्रचार-प्रसार के दौर में नेताओं के बीच आए दिन किसी न किसी मुद्दे को लेकर घमासान देखने को मिल रहा है. इलेक्टोरल बॉन्ड, देश की संपत्ति पर पहला हक मुसलमानों का वाले बयान के बाद अब बीफ पर सियासत गरमाई हुई है. दरअसल, बीफ को लेकर शुरू हुआ यह विवाद कोई नया नहीं है. यह विवाद उस वक्त तेज हो गया जब कांग्रेस के एक नेता ने यह दावा किया कि कंगना रनौत बीफ खाती हैं.
बीफ को लेकर तमाम राजनीतिक दल एक दूसरे पर आरोप प्रत्यारोप करते हुए नजर आ रहे हैं. आइए एक नजर डालते हैं बीफ वाले बयान में अब तक किस किस नेताओं की एंट्री हो गई है और उन्होंने क्या कहा है.
महाराष्ट्र कांग्रेस के नेता विजय वडेट्टीवार ने बीते दिनों हिमाचल के मंडी लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार कंगना रनौत को लेकर एक बड़ा दावा किया था. उन्होंने कहा था कि बीजेपी ने जिस कंगना को मंडी से उम्मीदवार बनाया है उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा था कि उन्हें बीफ पसंद है और वह खाती हैं. वडेट्टीवार के इस बयान पर बीजेपी नेताओं ने कड़ी आपत्ति जताई थी और बाद में कंगना ने भी पलटवार करते हुए कहा था कि वह बीफ या किसी भी तरह का रेड मीट नहीं खाती हैं.
I don’t consume beef or any other kind of red meat, it is shameful that completely baseless rumours are being spread about me, I have been advocating and promoting yogic and Ayurvedic way of life for decades now such tactics won’t work to tarnish my image. My people know me and…
— Kangana Ranaut (Modi Ka Parivar) (@KanganaTeam) April 8, 2024
दरअसल, साल 2019 में कंगना ने अपने एक्स अकाउंट पर एक पोस्ट कर लिखा था कि बीफ या दूसरा कोई भी मांस खाने में कोई बुराई नहीं है. यह धर्म के बारे में नहीं है! यह किसी से छिपा नहीं है कि 8 साल पहले मैंने शाकाहार को अपनाकर एक योगी का रास्ता चुना था. मैं सिर्फ एक धर्म में विश्वास नहीं करती हूं. उन्होंने आगे लिखा था कि इसके ठीक विपरीत मेरा भाई मांस खाता है.
यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को विपक्षी दलों पर हमला बोलते हुए कहा कि ये लोग अल्पसंख्यकों को उनकी पसंद के खाने की छूट देना चाहते हैं. इसका मतलब है कि ये गोकशी की छूट देने की बात कर रहे हैं. सीएम योगी ने आगे कहा कि ये बेशर्म लोग हमारी गाय को खाने की छूट देंगे, जबकि हमारा शास्त्र गाय को विश्व माता कहता है, उस गाय को ये कसाइयों के हाथों देंगे, क्या हिन्दुस्तान कभी इसे स्वीकार करेगा?
...यानी कांग्रेस गोकशी की छूट देने जा रही है!
— Yogi Adityanath (मोदी का परिवार) (@myogiadityanath) April 26, 2024
इन बेशर्म लोगों को देखिए, भारत की आस्था के साथ कैसे खिलवाड़ कर रहे हैं।
हिंदुस्तान स्वीकार नहीं करेगा... pic.twitter.com/X81NvSvacN
एक चुनाव प्रचार के दौरान ओवैसी की ओर से बीफ को लेकर दिए गए बयान पर भी विवाद देखने को मिला है. दरअसल, असदुद्दीन ओवैसी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था जिसमें वह एक दुकान के बाहर खड़े होकर रेहान बीफ शॉप! जिंदाबाद के नारे लगाए थे. नारा लगाने के बाद ओवैसी को यह कहते हुए सुना गया कि काट ते रहो.
ओवैसी के इस बयान पर बीजेपी नेता माधवी लता ने कहा था कि मैं समझ नहीं पाती हूं कि ओवैसी बैरिस्टर कैसे बन गए. वह पर्सनल लॉ की बात करते हैं. पर्सनल लॉ के मुताबिक, ‘फतवा’ कुछ होता है, जिसका पालन सभी को करना होता है. जब फतवा है कि बीफ नहीं खाना चाहिए, तो वह फतवे के खिलाफ कैसे जा रहे हैं. इसका मतलब है कि वह अपने धर्म का भी सम्मान नहीं करते हैं.