जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले का बदला लेने के लिए भारतीय सेना ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ चलाया. वहीं, इसमें पहली बार SkyStriker ड्रोन का इस्तेमाल किया गया. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ में इजरायल की Elbit Systems और अडानी ग्रुप की Alpha Design Technologies द्वारा विकसित SkyStriker ड्रोन ने अपनी ताकत का लोहा मनवाया. इस सूसाइड ड्रोन ने पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों को नेस्तनाबूद कर अपनी सटीकता और स्टेल्थ क्षमता साबित की. Elbit Systems, जो नैसडैक में लिस्टेड है, इसके शेयरों में पिछले दो दिनों में 3.62% की तेजी देखी गई, क्योंकि इस ड्रोन ने वैश्विक स्तर पर ध्यान खींचा.
ड्रोन की तकनीकी खूबियां
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, SkyStriker लॉइटरिंग म्यूनिशन को स्टेल्थ ऑपरेशनों के लिए डिजाइन किया गया है. यह 5 से 10 किलो हथियार ले जा सकता है और दो घंटे तक उड़ान भर सकता है. इसका इलेक्ट्रिक प्रपल्शन सिस्टम बिना आवाज के काम करता है, जिससे यह दुश्मन की नजरों से बच निकलता है. यह ड्रोन टारगेट को नष्ट करने के बाद या तो स्वयं नष्ट हो सकता है या वापस लौट सकता है. एक रक्षा विशेषज्ञ ने बताया, “यह दुश्मन के इलाके में हाई-वैल्यू टारगेट को तबाह करने में सक्षम है.
मूल रूप से रूस के लिए इजरायल द्वारा डिजाइन किया गया SkyStriker, भारत की जरूरतों के अनुसार बेंगलुरु में Alpha Design Technologies और Elbit Systems ने मिलकर बनाया गया है. वहीं, भारत सरकार ने बालाकोट हमले के बाद 100 यूनिट का ऑर्डर दिया था, और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ में पहली बार इसका उपयोग हुआ. इस ड्रोन ने आतंकी ठिकानों को सटीकता से निशाना बनाकर भारतीय सेना की ताकत को और मजबूत किया.