दुनिया की एक ऐसी नदी जिसमें पानी नहीं पत्थर बहते हैं, कारण जान हो जाएंगे हैरान

Mysterious Stone River: दुनिया में एक ऐसी नदीं है, जिसके बारे में जानकर आप हैरान हो जाएंगे. दुनिया में एक ऐसी नदी हैं, जिसमें पानी नहीं बहता, पानी की जगह पत्थर बहते हैं.

Imran Khan claims

नई दिल्ली. Mysterious Stone River: दुनियाभर में कई नदियां है. ग्लोबल वार्मिंग की वजह से कई नदियां सूख गईं तो कइयों का अस्तित्व खत्म हो गया. लेकिन दुनिया में एक ऐसी नदीं है, जिसके बारे में जानकर आप हैरान हो जाएंगे. नदियों का नाम आते ही हमारे दिमाग में बहते पानी की ईमेज बनती है. लेकिन जरा सोचिए आप नदी के बारे में सोच रहे हैं और आपके दिमाग में पानी की जगह पत्थरों बहते हुए आएं तो कैसा लगेगा. लेकिन आप सोचिए मत क्योंकि दुनिया में एक ऐसी नदी हैं, जिसमें पानी नहीं बहता, पानी की जगह पत्थर बहते हैं.

पत्थरों से बहती नदीं के बारे में सुनकर आप हैरान जरूर हो रहे होंगे. लेकिन ये सच है. इस नदीं में आपको पानी की एक बूंद भी नहीं मिलेगी. अब सवाल है कि अगर पानी नहीं है तो ये पत्थर बहते कैसे हैं? सिर्फ पत्थरों के बहने का ही नहीं सवाल विज्ञान का भी है कि आखिर पत्थरों के बहाव में विज्ञान का कौन सा बहाव काम करता है. किस देश में ये नदीं है. ऐसे ही कई सवाल हमारे मन भी आए थे. चलिए इन सवालों के जवाब जानने का प्रयास करते हैं.

किस देश में है पत्थरों की नदी

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार यह पत्थर की नदी रूस में बहती है. कहा जात है. यहां 10 टन वजनीय पत्थर धरती के 6 इंज अंदर तक धंसे हुए हैं. पत्थरों के जमीन में धंसे होने के चलते यहां कोई वनस्पति उग ही नहीं पाती. आपको ये जानकर हैरानी होगी कि इस नदी के आस-पास का वातावरण बेहद हरा भरा है. सिर्फ नदी में ही किसी प्रकार की कोई वनस्पति नहीं है. इसी कारण वस इस नदी को स्टोन रिवर (Stone River) कहा जाता है.

कितनी है लंबाई और चौड़ाई

स्टोन रिवर के नाम से मशहूर यह नदी एक आम नदी की तरह दिखती है. इसकी धारा हूबहू जैसे पानी की धारा बहती है वैसे ही दिखती है. इसकी धाराएं कहीं - कहीं 20 मीटर तो कहीं -कहीं 200 से 700 मीटर हो जाती है. इस नदीं में छोटे - छोटे पत्थरों से लेकर बड़े पत्थर पानी की तरह बहते नजर आते हैं. इस पत्थर वाली नदी के आसपास देवदार के वृक्षों के घने जंगल भी मौजूद हैं. इस नदीं में 6 किलोमीटर तक सिर्फ और सिर्फ पत्थर ही दिखाई देते हैं.

क्या कहते हैं वैज्ञानिक

एक मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, वैज्ञानिकों का मानना है कि करीब 10 हजार वर्ष पहले बड़ी पर्वतमालाओं की ऊंची -ऊंची चोटियों से ग्लेशियर टूटकर गिरे होंगे. इन्ही ग्लेशियरों के गिरने की वजह से इस पत्थर वाल नदी का निर्माण हुआ होगा. हालंकि, इस बात के कोई पुख्ता सबूत नहीं हैं कि इस स्टोन रिवर (Stone River)का निर्माण कैसे हुआ. वैज्ञानिकों ने बस अनुमान के तहत ग्लेशियरों के टूटने और उनसे नदी बनने की बात कही है.

शैलानियों की फेवरेट है ये नदी

इस नदी के चर्चे दूर-दूर तक हैं. विश्व के अनेकों देशों से शैलानी यहां घूमने आते हैं. भले ही इस नदी में पानी ना हो लेकिन इसेक आसपास का वातावरण इतना खूबसूरत है कि आपका भी मन मोह सकता है. हजारों की संख्या में लोग नेचर का आनंद लेने यहां घूमने आते हैं.  यह नदी लोगों के लिए फेवरेट जगहों में से एक मानी जाती है.

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