लाइसेंस बनवाना तो है आसान पर रिन्यूअल में आती है दिक्कत, जानें क्या है नियम और वजह

Driving License process: गाड़ी चलाने के लिए ड्राइविंग लाइसेंस होना उतना ही जरूरी है जितना किसी काम के लिए उसकी ट्रेनिंग लेना. भारत में बिना ड्राइविंग लाइसेंस के गाड़ी चलाना गैरकानूनी है.

Imran Khan claims

Driving License process: गाड़ी चलाने के लिए ड्राइविंग लाइसेंस होना उतना ही जरूरी है जितना किसी काम के लिए उसकी ट्रेनिंग लेना. भारत में बिना ड्राइविंग लाइसेंस के गाड़ी चलाना गैरकानूनी है. अगर आपको पकड़ा गया तो आपको भारी जुर्माना भरना पड़ सकता है, लाइसेंस जब्त हो सकता है, और यहां तक कि जेल भी हो सकती है. लाइसेंस सिर्फ कानून नहीं, बल्कि सुरक्षा का पहरा भी है. लाइसेंस लेने के लिए आपको ट्रैफिक नियमों और गाड़ी चलाने के सही तरीकों की ट्रेनिंग मिलती है. इससे आप अपनी, दूसरों की और सड़क पर मौजूद हर किसी की सुरक्षा सुनिश्चित कर पाते हैं.

लाइसेंस लेने से आप गाड़ी चलाना सही तरीके से सीखते हैं. इससे आपकी गाड़ी चलाने की क्षमता बढ़ती है और आप आत्मविश्वास के साथ ट्रैफिक का सामना कर सकते हैं. ये प्रोफेसिएंसी आपके समय और पैसों की भी बचत करती है. ड्राइविंग लाइसेंस सिर्फ गाड़ी चलाने का परमिट नहीं, बल्कि एक मान्य पहचान पत्र भी है. कई सरकारी कामों के लिए जैसे बैंक खाता खोलना, पासपोर्ट बनवाना आदि में इसका इस्तेमाल किया जा सकता है. लाइसेंस आपके लिए रोजगार के नए रास्ते भी खोलता है. कई नौकरियों के लिए जैसे कैब ड्राइवर, ट्रक ड्राइवर, डिलीवरी बॉय आदि के लिए ड्राइविंग लाइसेंस अनिवार्य होता है.

ऐसे में आपको यह जानकर हैरानी होगी कि लाइसेंस बनवाने से ज्यादा उसके रिन्यूअल में दिक्कत होती है. आज हम आपको लाइसेंस बनवाने से लेकर उसे रिन्यू कराने के सभी नियम और कानून की जानकारी देंगे. 

कैसे बनवाते हैं ड्राइविंग लाइसेंस

सबसे पहले, आपको अपने क्षेत्र के RTO कार्यालय से फॉर्म 4 या फॉर्म 6 (नए लाइसेंस के लिए) प्राप्त करना होगा. इसे ऑनलाइन भी डाउनलोड किया जा सकता है. फॉर्म को ध्यान से भरें और सभी आवश्यक दस्तावेज भी जमा करें.

ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आपको एज प्रूफ (बर्थ सर्टिफिकेट, आधार कार्ड आदि), एडरेस प्रूफ (बिजली बिल, राशन कार्ड आदि), फिटनेस सर्टिफिकेट (डॉक्टर द्वारा जारी), पासपोर्ट साइज फोटो और शुल्क के भुगतान की रसीद जमा करानी होगी. फॉर्म जमा करने के बाद, आपको लर्नर लाइसेंस के लिए टेस्ट देना होगा. इसमें ट्रैफिक नियमों और सड़क संकेतों का ज्ञान परीक्षण शामिल है. टेस्ट पास करने पर आपको लर्नर लाइसेंस मिल जाएगा.

लर्नर लाइसेंस की वैधता अवधि के दौरान, आपको RTO द्वारा आयोजित ड्राइविंग टेस्ट पास करना होगा. यह टेस्ट आपके वाहन चलाने के स्किल को वैलिडेट करता है. टेस्ट पास करने पर आपको परमानेंट ड्राइविंग लाइसेंस मिल जाएगा.

लाइसेंस रिन्यूअल करने के क्या होते हैं नियम

पहली बार लाइसेंस मिलने के बाद आपको 20 साल की अवधि मिल जाती है जिसके बाद आपको इसे रिन्यू कराना पड़ता है. 40 साल की उम्र के बाद, ड्राइविंग लाइसेंस की वैधता अवधि कम हो जाती है. पहले 20 साल की वैधता, अब 10 साल और फिर 5 साल की वैधता होती है. 

इन चीजों पर निर्भर करता है लाइसेंस रिन्यूअल का टाइम

  • शारीरिक क्षमता: आयु के साथ दृष्टि, सुनवाई और प्रतिक्रिया समय जैसी शारीरिक क्षमताएं कम हो सकती हैं. नियमित स्वास्थ्य जांच सुनिश्चित करना लक्ष्य है.
  • ट्रैफिक सुरक्षा: सड़क दुर्घटनाओं में बुजुर्ग ड्राइवरों का प्रतिशत बढ़ रहा है. नियमित रिन्यूअल से ये सुनिश्चित करना है कि ड्राइवर अभी भी सुरक्षित ड्राइविंग के मानकों को पूरा करते हैं.
  • लाइसेंस अपडेट: नियम और संकेत समय के साथ बदलते हैं. रिन्यूअल प्रक्रिया चालकों को इन बदलावों के बारे में अपडेट करती है.

लाइसेंस की वैलिडिटी को लेकर क्या है नियम

  • 40 साल से कम उम्र: लाइसेंस 20 साल के लिए वैध होता है या जब तक आप 40 साल के नहीं हो जाते, जो भी पहले हो.
  • 40 से 50 साल की उम्र: लाइसेंस 10 साल के लिए वैध होता है.
  • 50 से 55 साल की उम्र: लाइसेंस आपके 60वें जन्मदिन तक वैध होता है.
  • 55 साल से ऊपर: लाइसेंस 5 साल के लिए वैध होता है.

जानें क्या है रिन्यूअल के नियम

  • आप लाइसेंस की वैधता समाप्त होने से 1 साल पहले से लेकर 1 साल बाद तक कभी भी रिन्यूअल के लिए आवेदन कर सकते हैं.
  • 50 साल की उम्र के बाद हर 3-5 साल में लाइसेंस रिन्यू कराना होता है. इसके लिए मेडिकल सर्टिफिकेट और कुछ मामलों में ड्राइविंग टेस्ट भी देना पड़ सकता है.
  • रिन्यूअल के लिए आपको ऑनलाइन या ऑफलाइन आवेदन करना होगा. आवेदन प्रक्रिया में फॉर्म भरना, फीस जमा करना और जरूरी दस्तावेज जमा करना शामिल होता है.
  • लाइसेंस की वैधता समाप्त होने के 30 दिन बाद तक बिना जुर्माने के रिन्यू कराया जा सकता है. इसके बाद देरी से रिन्यू कराने पर जुर्माना लग सकता है.

इन बातों का भी रखना होगा ध्यान

  • ऐसे वाहन (ट्रक, बस आदि) जो बिजनेस चलाने में इस्तेमाल होते हैं उसके लाइसेंस को हर 3 साल में रिन्यू कराने होते हैं, उम्र की परवाह किए बिना.
  • लाइसेंस रिन्यूअल के लिए राज्य के नियमों में थोड़ा अंतर हो सकता है. सटीक जानकारी के लिए अपने राज्य के परिवहन विभाग की वेबसाइट देखें.

हालांकि, कुछ राज्यों में 40 से ऊपर के लाइसेंस रिन्यूअल के लिए अतिरिक्त टेस्ट की आवश्यकता नहीं होती है. सिर्फ मेडिकल सर्टिफिकेट की जरूरत पड़ सकती है. कृपया ध्यान दें कि ये सामान्य प्रक्रियाएं हैं और अलग-अलग राज्यों में थोड़ा भिन्न हो सकती हैं. अधिक सटीक जानकारी के लिए अपने क्षेत्र के RTO कार्यालय से संपर्क करें.

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