प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस के अपने भाषण में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की प्रशंसा की, जिसके बाद समाजवादी पार्टी के प्रमुख और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने संगठन पर तीखा हमला बोला. लखनऊ में पत्रकारों से बातचीत में यादव ने कहा, "ये मुंह से तो स्वदेशी हैं लेकिन मन से विदेशी हैं." उन्होंने आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने अपने पहले सम्मेलन में धर्मनिरपेक्ष और समाजवादी मार्ग अपनाने का संकल्प लिया था, लेकिन संघ परिवार का रास्ता इससे अलग है.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, दरअसल, प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में आरएसएस की 100 साल की यात्रा को सराहा और इसे दुनिया का सबसे बड़ा गैर-सरकारी संगठन (एनजीओ) बताया. उन्होंने कहा, "एक सदी पहले, एक आंदोलन का जन्म हुआ था, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस). एक सदी तक यह संगठन राष्ट्र के कल्याण के लिए समर्पित रहा है. सेवा, समर्पण, संगठन और अनुपम अनुशासन के साथ, आरएसएस ने राष्ट्र निर्माण में एक अनूठी भूमिका निभाई है.
RSS ने राष्ट्र निर्माण में निभाई अहम भूमिका
एक तरह से, आरएसएस दुनिया का सबसे बड़ा एनजीओ है. इसकी 100 साल की समर्पण की गाथा है."1925 में महाराष्ट्र के नागपुर में केशव बलिराम हेडगेवार द्वारा स्थापित आरएसएस इस साल अपनी शताब्दी मना रहा है. इस अवसर पर संगठन पूरे देश में विभिन्न सामाजिक और उत्सव कार्यक्रम आयोजित कर रहा है.
From the ramparts of the Red Fort, highlighted the role played by the RSS in nation building. This year is special as we mark a hundred years since the RSS was founded.@RSSorg pic.twitter.com/H4HLHLJHrN
— Narendra Modi (@narendramodi) August 15, 2025
वैश्विक चुनौतियों का सामना करने की जरूरत: अखिलेश
स्वतंत्रता दिवस के मौके पर अखिलेश यादव ने देश को वैश्विक चुनौतियों का सामना करने की आवश्यकता पर जोर दिया. उन्होंने कहा, "आज जब हम स्वतंत्रता दिवस मना रहे हैं, हमें दुनिया की चुनौतियों को स्वीकार करना होगा. हमारे किसान जितने मजबूत होंगे, हमारा देश आर्थिक रूप से उतना ही सशक्त होगा, और हमारे युवाओं का भविष्य जितना बेहतर होगा, हमारा देश वैश्विक बाजारों में उतना ही सक्षमता से मुकाबला कर पाएगा.
"योगी ने बीजेपी को ठगा: अखिलेश का आरोप
सपा सुप्रीमों अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर भी निशाना साधा. उन्होंने आरोप लगाया कि योगी ने बीजेपी को धोखा दिया है. यादव ने कहा, "हम चाहते हैं कि हमारी सीमाएं सुरक्षित रहें. अग्निवीर योजना को खत्म करना चाहिए... आज अमेरिका हम पर शुल्क लगा रहा है और हमारे उद्योगपतियों के लिए समस्याएं पैदा कर रहा है... हमें ऐसी वैश्विक संकटों का समाधान ढूंढना होगा... मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पूरी बीजेपी को ठगा है. वह न तो बीजेपी के सदस्य थे और न ही उन्हें बीजेपी की विचारधारा पसंद थी. उन्होंने सिर्फ कुर्सी (मुख्यमंत्री पद) के लिए बीजेपी की सदस्यता ली.
विपक्ष ने की मोदी की आलोचना
इस बीच एआईएमआईएम प्रमुख असुद्दीन ओवैसी ने भी मोदी की आरएसएस प्रशंसा की आलोचना की. एक्स पर एक पोस्ट में उन्होंने कहा, "हिंदुत्व की विचारधारा बहिष्कार में विश्वास करती है और यह हमारी संवैधानिक मूल्यों के खिलाफ है. पीएम मोदी स्वयंसेवक के तौर पर नागपुर जाकर आरएसएस की तारीफ कर सकते थे, लेकिन उन्हें प्रधानमंत्री के रूप में लाल किले से ऐसा करने की क्या जरूरत थी?"कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने भी इस मुद्दे पर आपत्ति जताई. उन्होंने कहा कि लाल किले की प्राचीर से आरएसएस का नाम लेना संवैधानिक, धर्मनिरपेक्ष गणतंत्र की भावना का खुला उल्लंघन है.