Rohit Sharma: रोहित शर्मा बेशक भारतीय टीम के शानदार बल्लेबाज हैं लेकिन उन्हें अक्सर उनके वजन को लेकर आलोचना और तीखी बातों का सामना करना पड़ता है.रोहित को कैरियर के शुरुआती दिनों में बढ़े हुए वजन के कारण मैगी मैन कहा जाता था. इस वजह से उन्हें टीम में कभी लगातार जगह नहीं मिल सकी. साल 2011 में वर्ल्ड कप टीम में जब उन्हें जगह नहीं मिली तो वे काफी निराश हो गए.
इसके बाद उन्होंने उनके खिलाफ फिट न होने की बनी धारणा को बदलने का प्रयास शुरू कर दिया. रोहित के साथी और कोलकाता नाइटराइडर्स के कोच अभिषेक नायर ने बताया कि कैसे रोहित शर्मा ने खुद को ट्रांसफॉर्म किया और टीम इंडिया के हिटमैन कहलाए.
रोहित शर्मा ने अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में साल 2007 में डेब्यू किया. डेब्यू के बाद वे कभी भी टीम में अपनी जगह बनाने में नाकाम रहे. उनके कैरियर को दो हिस्सों में विभाजित करके देखा जा सकता है जब वे एक बल्लेबाज के रूप में सबसे ज्यादा सफल हुए. एक फेज है साल 2007 से लेकर साल 2013 तक. इस फेज में रोहित शर्मा नेशनल टीम में अंदर-बाहर होते रहे. वे कभी भी टीम इंडिया में अपनी जगह पक्की नहीं कर पाए. दूसरा फेज है साल 2013 के बाद से अब तक इस दौरान उनकी बल्लेबाजी ने दुनियाभर के गेंदबाजों की नाक में दम कर दिया. दक्षिण अफ्रीका में चैंपियंस ट्रॉफी से ओपनिंग से शुरू हुआ सिलसिला अब तक जारी है. इस दौरान उन्होंने बैटिंग से लेकर कप्तानी तक रिकॉर्ड की झड़ी लगा दी.
रोहित शर्मा को यह सफलता ऐसे ही नहीं मिली. एक यूट्यूब कार्यक्रम में उनके साथी बल्लेबाज और कोलकाता नाइटराइडर्स के कोच अभिषेक नायर ने बताया कि साल 2011 की वर्ल्ड कप स्क्वाड में ना चुने जाने पर वे टूट गए थे. इस दौरान में उससे हमेशा कहता था मेहनत करो, क्योंकि उस दौरान रोहित का वजन बहुत बढ़ गया था. उस दौरान उसकी एक पिक्चर तस्वीर वायरल हो रही थी जिसमें वह युवराज सिंह के साथ खड़े थे. मैं उस तस्वीर को कभी नहीं भूल सकता था क्योंकि उस पिक्चर में उसके बढ़े हुए पेट को मार्क किया गया था. नायर का कहना था कि यह नजारा हम टीवी पर साथ देख रहे थे. इस दौरान लोग उसे पता नहीं क्या-क्या कहते थे. दो मिनट का मैगी मैन. इसके बाद रोहित ने इस धारणा को बदलने का मन बना लिया. इसके बाद आईपीएल 2012 और 2013 में उन्होंने क्रमश: 433 और 528 रन बनाए. यहीं से रोहित शर्मा का कैरियर बदल गया.