एशेज 2025 में इंग्लैंड का होगा सूपड़ा साफ, पूर्व ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी ने किया हैरान करने वाला दावा

Ashes 2025: इंग्लैंड को इस साल के अंत में ऑस्ट्रेलिया का दौरा करना है और इस दौरे पर 5 मैचों की टेस्ट सीरीज खेली जानी है. ऐसे में पूर्व तेज गेंदबाज ने दावा किया है कि इंग्लिश टीम को 5-0 से हार का सामना करना पड़ सकता है.

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Praveen Kumar Mishra

Ashes 2025: ऑस्ट्रेलिया के दिग्गज तेज गेंदबाज ग्लेन मैकग्राथ ने एक बार फिर एशेज सीरीज से पहले बड़ा दावा किया है. उन्होंने कहा है कि 2025-26 में होने वाली एशेज सीरीज में ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड को 5-0 से हराकर क्लीन स्वीप करेगा. मैकग्राथ, जिन्होंने अपने शानदार करियर में 6 बार एशेज जीत में अहम भूमिका निभाई थी, उनका मानना है कि ऑस्ट्रेलिया की मजबूत टीम और घरेलू परिस्थितियां इंग्लैंड के लिए मुश्किलें खड़ी करेंगी.

मैकग्राथ ने बीबीसी रेडियो 5 लाइव से बात करते हुए अपनी पुरानी भविष्यवाणी को दोहराया. उन्होंने मजाक में कहा, "मैं शायद ही कभी भविष्यवाणी करता हूं, है ना? और मैं इस बार भी 5-0 का दावा करता हूं." यह उनका वही पुराना अंदाज है, जिसमें वह हमेशा ऑस्ट्रेलिया की जीत की भविष्यवाणी करते हैं.

इंग्लैंड का खराब रिकॉर्ड

एशेज की पांच टेस्ट मैचों की यह सीरीज 21 नवंबर से शुरू होगी. यह ऑस्ट्रेलिया की विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के नए चक्र में पहली घरेलू सीरीज होगी. दूसरी ओर इंग्लैंड का ऑस्ट्रेलिया में प्रदर्शन पिछले कुछ समय से बेहद खराब रहा है. उन्होंने आखिरी बार 2010-11 में एंड्रयू स्ट्रॉस की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया में 3-1 से जीत दर्ज की थी. इसके बाद से इंग्लैंड को 2006-07 और 2013-14 में 5-0 से हार और 2017-18 में 4-0 से शिकस्त झेलनी पड़ी थी.

ऑस्ट्रेलिया की गेंदबाजी ताकत

मैकग्राथ ने ऑस्ट्रेलिया की गेंदबाजी को अपनी भविष्यवाणी का सबसे बड़ा आधार बताया. उन्होंने पैट कमिंस, मिशेल स्टार्क, जोश हेजलवुड और नाथन लियोन की चौकड़ी को इंग्लैंड के लिए बड़ा खतरा बताया. उन्होंने कहा, "हमारी टीम बहुत मजबूत है. जब आपके पास कमिंस, स्टार्क, हेजलवुड और लियोन जैसे गेंदबाज हों, जो अपनी घरेलू पिचों पर खेल रहे हों, तो इंग्लैंड के लिए एक भी टेस्ट जीतना मुश्किल होगा."

इंग्लैंड की चुनौती

2023 में इंग्लैंड ने अपनी धरती पर एशेज को 2-2 से ड्रॉ कराने में सफलता पाई थी, लेकिन ऑस्ट्रेलिया की तेज और उछाल भरी पिचों पर उनकी चुनौती कहीं अधिक कठिन होगी. इंग्लैंड ने आखिरी बार 2015 में एशेज ट्रॉफी जीती थी और तब से वह इसे दोबारा हासिल नहीं कर पाया है.