Russian Presidential Elections: व्लादिमीर पुतिन ने रूस से राष्ट्रपति चुनाव में एक बार फिर भारी बहुमत के साथ जीत दर्ज की है. राष्ट्रपति चुनाव में पुतिन को 88% वोट मिले. आलम ये था कि इस चुनाव में उनसे सामने कोई मजबूत प्रतिद्वद्वी भी नहीं था. इस जीत के साथ रूस की सत्ता पर पुतिन की पकड़ पहले से ज्यादा मजबूत हो गई है. इस प्रचंड जीत के बाद व्लादिमीर पुतिन ने कहा कि यह दर्शाता है कि मॉस्को पश्चिम के सामने खड़ा होने और यूक्रेन में अपने सैनिक भेजने के लिए सही था.
पूर्व केजीबी लेफ्टिनेंट कर्नल पुतिन जो पहली बार साल 1999 में सत्ता में आए थे, ने यह साफ कर दिया है कि इन परिणामों से पश्चिम के देशों के नेताओं को यह संदेश जाना चाहिए कि उन्हें आने वाले कुछ सालों के लिए साहसी रूस के साथ समझौता करना होगा, चाहे वह युद्ध का मामला हो या फिर शांति का. इस जीत के साथ पुतिन अब आने वाले 6 सालों तक रूस की सत्ता में बने रहेंगे.
रूस की सत्ता पर सबसे लंबे समय तक काबिज रहने वाले नेता बने
इसी के साथ वह सबसे लंबे समय तक रूस की सत्ता पर काबिज रहने के मामले में जोसेफ स्टालिन से आगे निकल गए हैं. पुतिन ने पिछले 200 से अधिक वर्षों में रूस की सत्ता पर सबसे लंबे समय तक काबिज रहने का रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया है.
पोलस्टर पब्लिक ओपिनियन फाउंडेशन (FOM) के एग्जिट पोल के अनुसार, पुतिन ने 87.8% वोट हासिल किए, जो रूस के सोवियत इतिहास के बाद का सबसे बड़ा परिणाम है. वही रशियन पब्लिक ओपिनियन रिसर्च सेंटर (VCIOM) के अनुसार, पुतिन को 87% वोट मिले.
पश्चिमी देशों ने चुनाव परिणाम पर उठाए सवाल
चुनाव के बाद आए रुझानों में प्रचंड बहुमत के साथ व्लादिमीर पुतिन की जीत बताई जा रही थी और रुझान बिल्कुल सच साबित हुए, हालांकि पश्चिम के देशों ने इस चुनाव पर सवाल उठाे हैं. रूस और पुतिन विरोधी अमेरिका, जर्मनी, ब्रिटेन और अन्य देशों ने इन चुनाव को लेकर कहा है कि राजनीतिक विरोधियों की कैद और उन पर लगे प्रतिबंधों के कारण ये चुनाव ना तो स्वतंत्र थे और न ही निष्पक्ष.
दूसरे नंबर पर रहे निकोलाई खारितोनोव मिले केवल 4% वोट
चुनाव में पुतिन के खिलाफ खड़े कम्युनिस्ट उम्मीदवार निकोलाई खारितोनोव को 4% से भी कम वोट मिले और वह दूसरे स्थान पर रहे, वहीं नवागंतुक व्लादिस्लाव दावानकोव तीसरे और अल्ट्रा नेशनलिस्ट लियोनिद स्लटस्की चौथे स्थान पर रहे. चुनाव में जीत के बाद अपने विजयी भाषण में पुतिन ने अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा कि वह यूक्रेन में रूस के विशेष सैन्य अभियान से जुड़े कार्यों को हल करने को प्राथमिकता देंगे और रूसी सेना को मजबूत करेंगे.
'किसी की मजाल नहीं जो हमें डरा-धमका सके'
पुतिन ने आगे कहा, 'हमारे सामने अभी कई काम है लेकिन जब हम एकजुट हो जाएंगे तो चाहे हमें कोई डराना चाहे, दबाना चाहे....इतिहास में कभी कोई ऐसा करने में सफल नहीं हुआ है, न अब कोई है और न कभी भविष्य में कोई सफल हो पाएगा.'