Supreme Court ने पूछा आपदा में शवों को संभालने का क्या है प्रोटोकॉल, केंद्र को देना होगा जवाब
Supreme Court News: सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से पूछा है आपदा की स्थिति में शवों को संभालने का क्या प्रोटोकॉल है. केंद्र सरकार को 3 हफ्ते में जवाब दाखिल करना है.

Supreme Court Dead Bodies Protocol: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को केंद्र सरकार से उस याचिका के जवाब में 3 सप्ताह के भीतर हलफनामा दाखिल करने को कहा, जिसमें आपदा और गैर-आपदा में शवों के प्रबंधन के लिए एक प्रोटोकॉल स्थापित करने की मांग की गई थी. सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने केंद्र सरकार से पूछा है आपदा की स्थिति में शवों को संभालने का क्या मौकेनिजम है. कोरोना महामारी के दौरान कई रिपोर्ट्स में अस्पतालों के मोर्चरी हाउस और श्मशान में शवों को खराब तरीके से रखे जाने की बात सामने आई थी. तब कोर्ट ने मामले पर खुद से संज्ञान लेते हुए सुनवाई शुरू की थी.
SC ने केंद्र से मांगा जवाब
मामले की सुनवाई शुरू होने के कुछ दिन बाद एक शख्स ने कोर्ट में याचिका दाखिल की थी. शख्स ने दावा किया था कि कोरोना के दौरान ना तो उन्होंने अपनी मां का चेहरा देखा और ना ही उनका अंतिम संस्कार कर सका. जबकि सच ये है कि उनकी मौत कोविड-19 से नहीं हुई थी. CJI डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की बेंच ने मामले पर सुनवाई करते हुए केंद्र से 3 हफ्ते में जवाब मांगा है. बेंच ने कहा कि सरकार हलफनामा दायर कर बताए कि आपदा और गैर-आपदा काल में शवों को संभालने की प्रक्रिया क्या है? इस मुद्दे पर अब नवंबर में सुनवाई होगी.
शव बदलने का आरोप
मामले की सुनवाई के दौरान याचिका दायर करने वाले शख्स के वकील ने कोर्ट को बताया कि उनके मुवक्किल की मां बदल दी गई और अस्पताल ने उन्हें किसी और की बॉडी दे दी. बेंच ने याचिकाकर्ता के वकील से कहा कि आपने जो मुद्दा उठाया है, उसका दो-तीन पेज में शॉर्ट नोट बनाकर पेश करें, जिससे उसे स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय को भेजा जा सके.
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