भारत के तेजी से बढ़ते नागरिक उड्डयन क्षेत्र में दो नई एयरलाइंस के जुड़ने का रास्ता साफ हो गया है. नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने अल हिंद एयर और फ्लाईएक्सप्रेस को नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट जारी कर दिया है. दोनों एयरलाइंस अगले वर्ष परिचालन शुरू करने की तैयारी में हैं. यह फैसला ऐसे समय में आया है, जब घरेलू विमानन बाजार में सीमित कंपनियों के दबदबे को लेकर सवाल उठ रहे हैं और सरकार अधिक प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देना चाहती है.
नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने बुधवार को दोनों नई एयरलाइंस को एनओसी प्रदान की. केंद्रीय मंत्री के. राममोहन नायडू ने बताया कि बीते एक सप्ताह में उन्होंने शंख एयर, अल हिंद एयर और फ्लाईएक्सप्रेस की टीमों से मुलाकात की. शंख एयर को पहले ही एनओसी मिल चुका है, जबकि बाकी दो कंपनियों को इस सप्ताह मंजूरी दी गई.
Civil Aviation Minister Naidu holds meetings with new Airline Teams to boost Indian Aviation @RamMNK
— All India Radio News (@airnewsalerts) December 23, 2025
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फिलहाल भारत में नौ घरेलू एयरलाइंस सक्रिय हैं. इंडिगो और एयर इंडिया समूह मिलकर 90 प्रतिशत से अधिक बाजार हिस्सेदारी रखते हैं. हाल ही में क्षेत्रीय एयरलाइन फ्लाई बिग ने अपनी नियमित उड़ानें निलंबित कर दी थीं. ऐसे में नई एयरलाइंस के आने से यात्रियों को अधिक विकल्प मिलने की संभावना है.
केरल स्थित अलहिंद समूह द्वारा प्रवर्तित अल हिंद एयर एक क्षेत्रीय कम्यूटर एयरलाइन के रूप में शुरुआत करेगी. कंपनी एटीआर 72-600 विमानों के बेड़े के साथ घरेलू उड़ानें शुरू करेगी. इसका मुख्य केंद्र कोच्चि होगा और बाद के चरण में अंतरराष्ट्रीय उड़ानों की योजना भी बनाई गई है.
नई एयरलाइंस को मंजूरी ऐसे समय में मिली है, जब घरेलू बाजार में कथित डुओपॉली को लेकर बहस तेज है. हाल ही में इंडिगो को बड़े पैमाने पर उड़ान रद्द होने की समस्या का सामना करना पड़ा था, जिससे लाखों यात्री प्रभावित हुए. इसके बाद सरकार और डीजीसीए ने हस्तक्षेप किया.
सरकार का मानना है कि उदान जैसी योजनाओं से छोटे और नए विमानन ऑपरेटरों को बढ़ावा मिला है. अल हिंद एयर और फ्लाईएक्सप्रेस के जुड़ने से छोटे शहरों की हवाई कनेक्टिविटी बेहतर होगी और विमानन क्षेत्र में संतुलन बढ़ेगा.