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'सरकार संसद सत्र में रचनात्मक चर्चा के लिए तैयार', सर्वदलीय बैठक के बाद संसदीय मंत्री प्रह्लाद जोशी का बड़ा बयान

संसद के शीतकालीन सत्र से पहले सर्वदलीय बैठक हुई. संसद के पुस्तकालय भवन में हुई इस सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री प्रल्हाद जोशी ने किया.

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Avinash Kumar Singh
सर्वदलीय बैठक

हाइलाइट्स

  • सर्वदलीय बैठक में 23 दलों के 30 नेता हुए शामिल
  • सरकार रचनात्मक चर्चा के लिए पूरी तरह तैयार: प्रह्लाद जोशी

नई दिल्ली: संसद के शीतकालीन सत्र से पहले सर्वदलीय बैठक हुई. संसद के पुस्तकालय भवन में हुई इस सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री प्रल्हाद जोशी ने किया. इस बैठक में केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल के साथ-साथ दोनों सदनों लोकसभा और राज्यसभा के विपक्ष के तमाम फ्लोर लीडर मौजूद रहे. कांग्रेस पार्टी की तरफ से राज्यसभा सांसद जयराम रमेश, गौरव गोगोई और प्रमोद तिवारी ने हिस्सा लिया. वहीं TMC की तरफ से सांसद सुदीप बंद्योपाध्याय, राकांपा नेता फौजिया खान और आरएसपी नेता एन के प्रेमचंद्रन सहित अन्य जैसे वरिष्ठ नेताओं ने इस बैठक में मौजूद रहे. 

'सरकार रचनात्मक चर्चा के लिए पूरी तरह तैयार'

सर्वदलीय बैठक के बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बड़ी प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए कहा ''मोदी सरकार रचनात्मक चर्चा के लिए पूरी तरह तैयार है. हमने विपक्ष से सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से संचालित होने देने का अनुरोध किया है.  हमने विपक्ष के सुझावों को सकारात्मक रूप से लिया है. 19 विधेयक और दो वित्तीय विषय विचाराधीन है. जिसपर सदन के पटल पर व्यापक विचार-विमर्श किया जाएगा.'' 

सर्वदलीय बैठक में 23 दलों के 30 नेता हुए शामिल

सर्वदलीय बैठक आम तौर पर सत्र शुरू होने से एक दिन पहले बुलाई जाती है, लेकिन इस बार विधानसभा चुनाव की मतगणना के कारण इसे एक दिन पहले बुलाया गया. जिसमें 23 दलों के 30 नेता शामिल हुए. इस बार संसद का शीतकालीन सत्र चार दिसंबर से शुरू होकर 22 दिसंबर तक चलेगा. इन 19 दिनों में 15 बैठकें होंगी. 

जानें कौन-कौन से विधेयक लंबित?  

संसद में 37 विधेयक लंबित हैं, इनमें 12 विधेयक इस शीतकालीन सत्र में पारित होने की उम्मीद है. इनमें आईपीसी, सीआरपीसी और एविडेंस एक्ट को बदलने वाले विधेयक भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, भारतीय साक्ष्य अधिनियम भी शामिल हैं। इनके अलावा जम्मू कश्मीर रिजर्वेशन विधेयक 2023, जम्मू कश्मीर रि-ऑर्गेनाइजेशन विधेयक, पोस्ट ऑफिस विधेयक, चीफ इलेक्शन कमिश्नर और अन्य इलेक्शन कमिश्नर विधेयक, द बॉयलर्स बिल, सेंट्रल गुड्स एंड सर्विस टैक्स बिल, सेंट्रल यूनिवर्सिटीज बिल आदि शामिल हैं.