नई दिल्ली: सर्दियों में ठंड और हवा के प्रभाव से हाई ब्लड प्रेशर वाले मरीजों के लिए यह मौसम चुनौतीपूर्ण साबित हो सकता है. शरीर में रक्त वाहिकाओं का संकुचन और रक्त का दबाव बढ़ना आम बात है, जिससे दिल पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है. इस दौरान अचानक ब्लड प्रेशर बढ़ने से दिल का दौरा या स्ट्रोक जैसी गंभीर समस्याएं भी हो सकती हैं. विशेषज्ञों का कहना है कि सर्दियों में रक्तचाप पर नियंत्रण रखना बेहद जरूरी है.
दवाओं का नियमित सेवन, गर्म कपड़े पहनना, नमक और तली-भुनी चीजों से परहेज, और हल्की-फुल्की एक्सरसाइज से इस मौसम में सुरक्षित रहना संभव है. सही खान-पान और जीवनशैली अपनाकर जोखिम को काफी हद तक कम किया जा सकता है.
हाई ब्लड प्रेशर के मरीजों को अपने डॉक्टर द्वारा बताई गई दवाइयों का समय पर सेवन करना चाहिए. सर्दियों में अक्सर लोग दवा छोड़ देते हैं या समय बदल देते हैं, जिससे रक्तचाप असंतुलित हो सकता है. चिकित्सक की सलाह के बिना दवा की मात्रा में बदलाव न करें.
ठंड में शरीर की धमनियों पर दबाव बढ़ जाता है. इसलिए गर्म कपड़े पहनें और कमरे का तापमान नियंत्रित रखें. सर्दियों में शरीर को गर्म रखने से रक्त वाहिकाओं का संकुचन कम होता है और ब्लड प्रेशर स्थिर रहता है.
सर्दियों में नमक, तली-भुनी और अधिक मसालेदार चीज़ों का सेवन ब्लड प्रेशर बढ़ा सकता है. फल, सब्ज़ियाँ, ओट्स और हल्का भोजन लेना बेहतर होता है. पर्याप्त पानी पीना भी जरूरी है क्योंकि ठंड में लोग अक्सर पानी कम पीते हैं.
सुबह और शाम हल्की वॉक या योग करने से रक्त संचार बेहतर रहता है और ब्लड प्रेशर नियंत्रित रहता है. लंबे समय तक ठंड में बैठे रहने से ब्लड प्रेशर बढ़ सकता है, इसलिए नियमित हल्की गतिविधियां रखें.
सर्दियों में नींद और मानसिक तनाव भी ब्लड प्रेशर को प्रभावित करते हैं. तनाव कम करने के लिए ध्यान, प्राणायाम और पर्याप्त नींद लें. मानसिक स्वास्थ्य और आराम से सर्दियों में ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखना आसान होता है.
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