'हिंदू स्त्रियां...देखकर शर्म आती है, नंगे होकर पैसे कमाओगे तुम' अनिरुद्धाचार्य के बाद अब साध्वी ऋतंभरा का वीडियो वायरल
साध्वी ने यह भी कहा कि ऐसी कमाई से घर में अशांति आती है और पितृलोक में आत्माएं तड़पती हैं. उन्होंने आगे कहा, “रील का चक्कर सबसे बुरा है.”
लड़कियों और महिलाओं को लेकर धार्मिक गुरुओं के बयानों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा. हाल ही में साध्वी ऋतंभरा का एक पुराना बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने हिंदू लड़कियों के रील्स बनाने और उनके व्यवहार पर तीखी टिप्पणी की. इससे पहले अनिरुद्धाचार्य और प्रेमानंद जी महाराज के बयानों ने भी खूब सुर्खियां बटोरी थीं. आइए जानते हैं, क्या है यह पूरा विवाद.
हिंदू स्त्रियां...देखकर शर्म आती है, नंगी होकर पैसे कमाओ तुम
साध्वी ऋतंभरा, जिन्हें दीदी मां के नाम से भी जाना जाता है, ने अपने एक प्रवचन में कहा, “इन दिनों हिंदू लड़कियां नंगी होकर पैसे कमा रही हैं. गंदे ठुमके लगाकर, गंदे गाने गाकर पैसे कमाए जा रहे हैं.” उन्होंने रील्स के चलन पर नाराजगी जताते हुए कहा कि कम कपड़े पहनकर और अश्लील गानों पर नाचकर लड़कियां रील्स बना रही हैं. साध्वी ने यह भी कहा कि ऐसी कमाई से घर में अशांति आती है और पितृलोक में आत्माएं तड़पती हैं. उन्होंने आगे कहा, “रील का चक्कर सबसे बुरा है.”
पुराने बयान वायरल
दरअसल ऋतंभरा का यह बयान मार्च 2025 का है, लेकिन हाल ही में अनिरुद्धाचार्य और प्रेमानंद जी महाराज के बयानों के बाद यह फिर से चर्चा में आ गया. साध्वी ऋतंभरा राम मंदिर आंदोलन से जुड़ी रही हैं और वर्तमान में वात्सल्य ग्राम नामक आश्रम चलाती हैं, जहां अनाथ बच्चों और विधवा महिलाओं को आश्रय दिया जाता है.
25 साल से पहले हो जानी चाहिए लड़कियों की शादी
इससे पहले अनिरुद्धाचार्य ने कहा था कि लड़कियों की शादी 25 साल से पहले हो जानी चाहिए, वरना उनके “4-5 ब्वॉयफ्रेंड” बन जाते हैं, जो उनके वैवाहिक जीवन को प्रभावित करता है. वहीं, प्रेमानंद जी महाराज ने लिव-इन रिलेशनशिप को गलत ठहराते हुए कहा, “100 में से मुश्किल से 2-4 लड़कियां ही पवित्र होती हैं. बाकी सब ब्वॉयफ्रेंड-गर्लफ्रेंड के चक्कर में हैं.” उन्होंने यह भी दावा किया कि एक से अधिक संबंध बनाने वाली लड़कियां या लड़के अपने जीवनसाथी के प्रति वफादार नहीं रह पाते.
सोशल मीडिया पर हंगामा
इन बयानों ने सोशल मीडिया पर तीखी बहस छेड़ दी है. जहां कुछ लोग इन धार्मिक गुरुओं के विचारों का समर्थन कर रहे हैं, वहीं कई लोग इसे महिलाओं के खिलाफ अपमानजनक बता रहे हैं.