बिहार हार के बाद राजद में भूचाल, लालू के समर्थकों ने संजय यादव को घेरा, राबड़ी आवास के बाहर नारेबाजी
कार्यकर्ताओं का गुस्सा इतना था कि पुलिस को बैरिकेडिंग करनी पड़ी. कई कार्यकर्ता तो गेट फांदकर अंदर घुसने की कोशिश करने लगे. उनका साफ आरोप है कि संजय यादव ने पार्टी पर कब्जा कर लिया है
पटना: बिहार विधानसभा चुनाव में महागठबंधन की करारी शिकस्त के बाद राष्ट्रीय जनता दल के अंदर घमासान शुरू हो गया है. सोमवार को विधायक दल की बैठक खत्म होने के तुरंत बाद राबड़ी देवी के 10 सर्कुलर रोड स्थित आवास के बाहर सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने जमकर हंगामा किया. नारेबाजी का पूरा निशाना तेजस्वी यादव के सबसे करीबी सलाहकार और राज्यसभा सांसद संजय यादव थे. “संजय यादव होश में आओ, पार्टी बचाओ”, “संजय यादव मुर्दाबाद” जैसे नारे गूंजते रहे.
कार्यकर्ताओं का गुस्सा इतना था कि पुलिस को बैरिकेडिंग करनी पड़ी. कई कार्यकर्ता तो गेट फांदकर अंदर घुसने की कोशिश करने लगे. उनका साफ आरोप है कि संजय यादव ने पार्टी पर कब्जा कर लिया है और इसी वजह से राजद को 2020 के 75 से घटकर सिर्फ 25 सीटें मिलीं.
दो दिन पहले रोहिणी-तेजस्वी के बीच हुआ था झगड़ा
संजय यादव को लेकर राजद परिवार में भी तनाव चरम पर है. दो दिन पहले राबड़ी देवी के आवास पर लालू प्रसाद की बड़ी बेटी रोहिणी आचार्या और तेजस्वी यादव के बीच जोरदार बहस हुई थी. रोहिणी ने बाद में सोशल मीडिया पर खुलासा किया था कि उन्होंने संजय यादव का नाम लिया तो तेजस्वी ने गाली दी और उन पर चप्पल तक चलाई. रोहिणी ने लिखा था, “मेरे भाई ने मुझे मारा, सिर्फ इसलिए कि मैंने संजय यादव का नाम लिया.”
टिकट बंटवारे में भी संजय पर लगे थे पैसे लेने के आरोप
चुनाव से पहले टिकट वितरण के दौरान कई दिग्गज नेताओं ने संजय यादव पर गंभीर आरोप लगाए थे. कई उम्मीदवारों का दावा था कि संजय यादव ने पैसे नहीं देने पर उनका टिकट कटवा दिया. महागठबंधन में सीट शेयरिंग के दौरान कांग्रेस के साथ चले लंबे खींचतान और आखिरी समय में 11 सीटों पर फ्रेंडली फाइट की स्थिति को भी कार्यकर्ता संजय यादव की नाकामी से जोड़कर देख रहे हैं.
राजद के पुराने नेता खुलकर कह रहे हैं कि संजय यादव ने तेजस्वी को पूरी तरह अपने घेरे में ले रखा है. “संजय यादव की मर्जी के बिना कोई तेजस्वी से मिल भी नहीं सकता. पार्टी में कोई भी फैसला बिना उनकी सहमति के नहीं होता,” यह शिकायत अब खुलेआम सुनाई दे रही है.
लालू के समर्थक भी नाराज, “परिवार को बचाओ, संजय को भगाओ”
सोमवार को हंगामा करने वालों में लालू प्रसाद के पुराने वफादार कार्यकर्ता भी बड़ी संख्या में थे. उनका कहना था कि संजय यादव की वजह से लालू का परिवार और पार्टी दोनों बर्बाद हो रहे हैं. कुछ कार्यकर्ताओं ने तो पोस्टर तक लगाए – “लालू परिवार को संजय यादव से बचाओ”. राजद मुख्यालय में भी सोमवार शाम तक माहौल गर्म रहा. कई विधायक और जिला अध्यक्षों ने बंद कमरे में लालू प्रसाद और राबड़ी देवी से शिकायत की कि अगर संजय यादव को नहीं हटाया गया तो पार्टी और बिखर जाएगी.