Bihar Assembly Elections 2025: झारखंड मुक्ति मोर्चा ने अचानक कदम उठाते हुए विपक्षी गठबंधन को छोड़कर छह विधानसभा सीटों पर अकेले चुनाव लड़ने का ऐलान किया है. पार्टी के महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने इस फैसले की पुष्टि की और कहा कि यह फैसला रणनीति के मद्देनजर लिया गया है. इससे महागठबंधन में हलचल मची है, जबकि अन्य दल अभी अपनी सीटों की अंतिम रणनीति तय कर रहे हैं.
झारखंड मुक्ति मोर्चा ने घोषणा की कि वह चकाई, धमदाहा, कटोरिया (ST), मनीहारी (ST), जमुई और पिरपैंती सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी. इन सभी सीटों पर दूसरे फेस यानि 11 नवंबर को मतदान होंगे. सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा, 'हर जगह की स्थिति अलग है. कांग्रेस आरजेडी के खिलाफ क्यों लड़ रही है? सीपीआई VIP के खिलाफ क्यों लड़ रही है? चुनाव रणनीतियां बदलती रहती हैं. यही कारण है कि हमने महागठबंधन से अलग होकर अपनी राह चुनी.'
JMM के इस फैसले से महागठबंधन की सीटों की योजना पर सवाल उठने लगे हैं. महागठबंधन में आरजेडी, कांग्रेस, सीपीआई (एमएल-एल), सीपीआई (एम), सीपीआई और विकासशील इंसान पार्टी (VIP) शामिल हैं. आरजेडी के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि महागठबंधन ने सीट साझा करने की योजना अंतिम रूप दे दी है, कुछ सीटों पर भ्रमित स्थिति जल्द सुलझा ली जाएगी.
बिहार विधानसभा चुनाव दो चरणों में होंगे- पहले चरण में 6 नवंबर को और दूसरे चरण में 11 नवंबर को मतदान होगा. मतगणना 14 नवंबर को की जाएगी. कुल 243 विधानसभा सीटों पर यह चुनाव हो रहा है और सभी राजनीतिक दल अपनी रणनीतियों को अंतिम रूप देने में लगे हैं.
JMM का महागठबंधन से अलग होना राज्य की राजनीति में नए समीकरणों को जन्म देगा. इससे विपक्षी गठबंधन को चुनौती मिल सकती है और चुनावी परिदृश्य में बदलाव आने की संभावना है. स्थानीय सीटों पर JMM की पकड़ और उम्मीदवारों की स्वीकार्यता का मुकाबला महागठबंधन के लिए मुश्किल हो सकता है.