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AstraZeneca ने क्यों दुनियाभर से वापस ली है अपनी वैक्सीन, 4 साल में कितने लोगों ने लगवाया ये टीका?

AstraZeneca ने दुनियाभर के बाजार से अपनी वैक्सीन वापस ले ली है. अब इसकी खरीद बिक्री पर रोक लग गई है.

रॉयटर्स.
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ब्रिटिश फार्मा कंपनी एस्ट्राजेनका (AstraZeneca) ने दुनियाभर के बाजारों से अपनी वैक्सीन वापस ले ली है. कंपनी की ओर से तैयार की गई वैक्सीन कोविशील्ड के कई प्रभाव ऐसे हैं, जिनका स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है. इसकी वजह से खून के थक्के जमते हैं और प्लेटलेट काउंट कम हो जाता है. कंपनी ने खुद इसे माना है.

भारत में सीरम इंस्टीट्यूट ने कोविशील्ड के नाम से एक वैक्सीन बनाई थी, जिसमें यही फॉर्मूला इस्तेमाल किया गया था. अब दुनियाभर में इस वैक्सीन के टीकाकरण को लेकर सवाल उठे थे, इसलिए इसे वापस ले लिया गया है. एस्ट्राजेनका ने बार-बार कहा था कि यह वैक्सीन, कोविड के हर वेरिएंट से लड़ने में सक्षम है.

एस्ट्रेजेनका ने कहा क्या है?
एस्ट्रेजेनका ने यूरोप में इसका मार्केटिंग ऑथराइजेशन वापस ली है. वैक्सीन अब बनाई नहीं जाएगी. इसका इस्तेमाल भी नहीं होगा. अब हर देश से इसे वापस लिया जाएगा. एस्ट्रेजेनका ने यह माना है कि उनकी वैक्सीन की वजह से कई लोगों की जान गई है और लोग गंभीर रूप से बीमार हुए हैं. यूके में उनके खिलाफ 100 मिलियन पाउंड का एक केस चल रहा है. वैक्सीन कुछ मामलों में थ्रोम्बोसिस थ्रोम्बोसाइटोपेनिया सिंड्रोम (TTS) की वजह बन रही है. 

क्या हो रहा था वैक्सीन से?
TTS जिन लोगों में फैलता है, उनके शरीर में खून के थक्के जमने लगते हैं और प्लेटलेट्स कम होने लगते हैं. ब्रिटेन में 80 से ज्यादा लोग इस वजह सेमर गए. कोविशील्ड को कोर्ट केस की वजह से कंपनी वापस ले रही है, इसे नहीं स्वीकार किया है. एस्ट्रेजेनका का दावा है कि इस वैक्सिन की वजह से 6.5 मिलियन लोगों की जान बचाई है. वैक्सीन को दुनियाभर में मान्यता मिली लेकिन हमारे टीके बहुत बड़ी संख्या में उपलब्ध हैं. हम टीकों को वापस ले रहे हैं और महामारी के खिलाफ हम वैक्सीन बनाना जारी रखेंगे. यह वैक्सीन कितने लोगों को लगी है, इसके सटीक आंकड़े अभी नहीं सामने आए हैं.