यूक्रेन की आत्मनिर्भर ताकत बढ़ी, नई बार्स मिसाइल ने पहली बार उड़ान भरते ही रूस को दिया कड़ा संदेश

यूक्रेन ने पहली बार अपनी नई ‘बार्स’ मिसाइल के प्रक्षेपण का वीडियो जारी किया है, जिसमें यह रूसी ठिकानों को निशाना बनाते दिखती है. 800 किलोमीटर की रेंज और 100 किलोग्राम पेलोड वाली यह मिसाइल ड्रोन और क्रूज़ तकनीक का हाइब्रिड है.

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Reepu Kumari

नई दिल्ली: यूक्रेन ने अपने सैन्य विकास में एक बड़ा कदम बढ़ाते हुए सोमवार को ‘बार्स’ मिसाइल के पहले सफल प्रक्षेपण का वीडियो दुनिया के सामने पेश किया. यह वीडियो रूसी ठिकानों पर सटीक वार की क्षमता का प्रदर्शन करता है, जिससे यूक्रेन की तकनीकी प्रगति और रक्षा तैयारी दोनों का स्पष्ट संकेत मिलता है. लगातार युद्ध की स्थिति में यह उपलब्धि कीव की रणनीतिक मजबूती का नया प्रतीक बन रही है.

लंबी दूरी के इस घातक हथियार को पूरी तरह यूक्रेन में विकसित किया गया है, जो ड्रोन और क्रूज़ मिसाइल तकनीक का अनोखा मेल है. ‘बार्स’ की 800 किलोमीटर तक मारक क्षमता और 100 किलोग्राम पेलोड ले जाने की शक्ति इसे रूसी ठिकानों पर गहरे प्रहार के लिए और भी प्रभावी बना देती है. यह कदम यूक्रेन के उस बड़े प्रयास का हिस्सा है, जिसके तहत वह अपनी सैन्य आत्मनिर्भरता बढ़ाना चाहता है.

ड्रोन और क्रूज तकनीक का हाइब्रिड मॉडल

इस मिसाइल की सबसे बड़ी खासियत इसका हाइब्रिड स्वरूप है. यह ड्रोन की लचीलापन और क्रूज़ मिसाइल की ताकत-दोनों को साथ लेकर चलती है. इससे ‘बार्स’ को न केवल दुश्मन के राडार से बचने में मदद मिलती है, बल्कि यह लक्ष्य पर सटीक प्रहार भी करती है. ऐसी तकनीक आधुनिक युद्ध में निर्णायक भूमिका निभाती है.

बार्स मिसाइल दागते हुए वीडियो

‘बार्स’ मिसाइल को आधुनिक युद्ध की जरूरतों को ध्यान में रखकर विकसित किया गया है. इसकी 800 किलोमीटर की रेंज इसे दूर स्थित रूसी ठिकानों तक सटीकता से पहुंचने में सक्षम बनाती है. 100 किलोग्राम पेलोड क्षमता इसे सामरिक हमलों के लिए बेहद उपयोगी बनाती है. यह तकनीक यूक्रेन के हथियार उद्योग के विकास का प्रतीक है. यह कितना घातक है इसका वीडियो भी यूक्रेन की ओर से जारी किया गया है. 

 

पश्चिमी हथियारों पर निर्भरता कम करने का प्रयास

यूक्रेन लंबे समय से पश्चिमी देशों की ओर से मिलने वाली सैन्य मदद पर निर्भर रहा है, लेकिन अब वह अपनी घरेलू हथियार निर्माण क्षमता को मजबूत करने पर ध्यान दे रहा है. ‘बार्स’ जैसी आधुनिक मिसाइलें इस दिशा में बड़ा कदम हैं, जो कीव को रणनीतिक रूप से स्वतंत्र बनने में मदद देंगी.

यूक्रेन की अन्य लंबी दूरी की प्रणालियां

बार्स अकेली प्रणाली नहीं है. यूक्रेन पेक्लो, पलियानित्सिया, लिउती, रूटा और फ्लेमिंगो जैसे कई नए हथियार भी विकसित कर रहा है. इन सभी प्रणालियों का लक्ष्य गहरी मारक क्षमता बढ़ाना और रूसी ठिकानों पर दूर तक वार करने की शक्ति हासिल करना है. इन तकनीकों से यूक्रेन की सैन्य क्षमता और मजबूत होगी.

रणनीतिक रूप से बढ़ता यूक्रेन का प्रभाव

बार्स मिसाइल का सफल परीक्षण यूक्रेन को रणनीतिक स्तर पर नई मजबूती प्रदान करता है. इस हथियार के सक्रिय होने से रूस के खिलाफ उसके विकल्प बढ़ जाएंगे. रक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह प्रणाली युद्ध की दिशा में महत्वपूर्ण बदलाव ला सकती है और यूक्रेन को नए आत्मविश्वास के साथ लड़ने की क्षमता दे सकती है.