एयर इंडिया ने गुरुवार को कहा कि 21 जून से 15 जुलाई के बीच 16 अंतरराष्ट्रीय रूट पर उड़ानें कम की जाएंगी साथ ही 3 विदेशी गंतव्यों पर उड़ानें निलंबित की जाएंगी. अहमदाबाद में 12 जून को हुए घातक विमान हादसे के बाद व्यवधानों से जूझ रही एयरलाइन ने कहा कि इसका उद्देश्य समय सारणी में स्थिरता बहाल करना और यात्रियों को अंतिम समय में होने वाली असुविधा को कम करना है.
एयरलाइन ने एक बयान में कहा, ये कटौती 21 जून 2025 से प्रभावी होगी और कम से कम 15 जुलाई 2025 तक जारी रहेगी. दिल्ली-नैरोबी, अमृतसर-लंदन (गैटविक) और गोवा (मोपा)-लंदन (गैटविक) पर सेवाएं 15 जुलाई तक निलंबित रहेंगी.
एयरलाइन के अनुसार, दिल्ली-नैरोबी मार्ग पर प्रति सप्ताह चार उड़ानें हैं, जबकि अमृतसर-लंदन (गैटविक) और गोवा (मोपा)-लंदन (गैटविक) मार्गों पर प्रति सप्ताह तीन उड़ानें हैं. इसके अलावा, उत्तरी अमेरिका, यूरोप, ऑस्ट्रेलिया और सुदूर पूर्व के शहरों को जोड़ने वाले 16 अंतर्राष्ट्रीय मार्गों पर उड़ानें कम हो जाएंगी.
उत्तरी अमेरिका में जिन मार्गों पर उड़ानों की कम होगी, वे हैं दिल्ली-टोरंटो, दिल्ली-वैंकूवर, दिल्ली-सैन फ्रांसिस्को, दिल्ली-शिकागो और दिल्ली-वाशिंगटन. बयान में कहा गया है, यह कटौती स्वैच्छिक रूप से उड़ान-पूर्व सुरक्षा जांच बढ़ाने के निर्णय के साथ-साथ मध्य पूर्व में हवाई क्षेत्र बंद होने के कारण अतिरिक्त उड़ान अवधि को समायोजित करने के कारण हुई है.
इससे पहले दिन में एयर इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी और प्रबंध निदेशक कैम्पबेल विल्सन ने यात्रियों को दिए संदेश में कहा कि विश्वास बहाली के उपाय के रूप में एयरलाइन ने अपने बोइंग 787 बेड़े पर उड़ान-पूर्व सुरक्षा जांच जारी रखने का निर्णय लिया है, तथा एक अतिरिक्त उपाय के रूप में फिलहाल अपने बोइंग 777 विमानों पर भी जांच जारी रखने का निर्णय लिया है.
विल्सन ने कहा कि इन अतिरिक्त जांचों में लगने वाले समय और समय-सारिणी पर पड़ने वाले संभावित प्रभाव को देखते हुए, एयर इंडिया ने 20 जून से शुरू होकर कम से कम जुलाई के मध्य तक अपनी अंतर्राष्ट्रीय वाइड-बॉडी उड़ानों में लगभग 15 प्रतिशत की कटौती करने का निर्णय लिया है.